सूरजपुर-कासना के पुनर्विकास योजना पर काम शुरू
जागरण संवाददाता ग्रेटर नोएडा ग्रेटर नोएडा के सबसे पुराने गांवों सूरजपुर और कासना के

जागरण संवाददाता, ग्रेटर नोएडा :
ग्रेटर नोएडा के सबसे पुराने गांवों सूरजपुर और कासना के सुंदरीकरण पर प्राधिकरण ने काम शुरू कर दिया है। शुक्रवार को ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण सीईओ नरेंद्र भूषण ने दोनों कस्बों का जायजा लिया। सीईओ ने कासना स्थित प्रसिद्ध सती निहालदे मंदिर के आसपास के क्षेत्र को भी विकसित करने का निर्णय लिया है।
सूरजपुर व कासना, शहर के दो सबसे पुराने कस्बे हैं। ग्रेटर नोएडा का विकास यहीं से शुरू हुआ था। इसे देखते हुए सीईओ ने दोनों कस्बों को नए सिरे से विकसित करने का निर्णय लिया। पुनर्विकास योजना के अंतर्गत दोनों कस्बों की सड़कों, गलियों का पुनर्निर्माण किया जाएगा। बाजार का सुंदरीकरण किया जाएगा। सूरजपुर स्थित घंटाघर चौक (सूरजपुर तिराहा) और उसके आसपास के क्षेत्र को एंटरटेनमेंट जोन के रूप में विकसित किया जाएगा। कासना के निहालदे मंदिर के आसपास के क्षेत्र को संवारा जाएगा। एसटीपी व मंदिर के बीच स्थित नाले को रीवर फ्रंट की तर्ज पर विकसित किया जाएगा। सूरजपुर में स्थित सभी सरकारी महकमों को भी संवारा जाएगा। उनके आसपास हरियाली, पार्किंग, फुटपाथ आदि विकसित किए जाएंगे। दोनों कस्बों के पुनरोद्धार में 50-50 करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान लगाया जा रहा है। हाल ही में संपन्न बोर्ड बैठक में दोनों गांवों के री-डेवलपमेंट प्लान को प्राधिकरण बोर्ड ने मंजूरी दे दी है। प्रारंभिक धनराशि के रूप में बजट में 10-10 करोड़ रुपये का प्रविधान भी कर दिया है। सीईओ ने कासना स्थित एसटीपी के पीछे निहालदे मंदिर के पास बह रहे हवेलिया नाला के किनारे रीवर फ्रंट के रूप में विकसित करने के निर्देश दिए। सिरसा एंट्री प्वाइंट पर ट्रकर्स पार्क के कामों का भी जायजा लिया। सूरजपुर-कासना रोड के किनारे हरियाली को और अधिक विकसित करने के निर्देश दिए। वहीं, निरीक्षण के बाद सीईओ ने प्रोजेक्ट विभाग व ई एंड वाई टीम के साथ बैठक की और कंसल्टेंट का चयन जल्द कर डीपीआर तैयार कराने को कहा है। 2025 तक इन कस्बों को गांवों को विकसित करने का लक्ष्य किया है। निरीक्षण के दौरान जीएम प्रोजेक्ट एके अरोड़ा, वरिष्ठ प्रबंधक सलिल यादव, कपिल सिंह, मनोज धारीवाल, राजीव कुमार व सुभाष चंद्र, प्रबंधक जितेंद्र यादव, वैभव नागर आदि मौजूद रहे।
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