Khatauli By Election 2022: खतौली से मदन भैया को प्रत्याशी घोषित करने का विरोध, RLD पूर्व प्रदेश प्रवक्ता नाराज
Khatauli Assembly By Election 2022 गाजियाबाद के लोनी से विधानसभा चुनाव में हार झेलने वाले मदन भैया को राष्ट्रीय लोकदल के मुखिया जयंत चौधरी के रविवार को संयुक्त प्रत्याशी घोषित करने के बाद पार्टी के नेता ही विरोध करने लगे हैं।

मुजफ्फरनगर, जेएनएन। Khatauli Assembly By Election 2022: मुजफ्फरनगर के खतौली विधानसभा उप चुनाव के लिए घोषित राष्ट्रीय लोकदल- समाजवादी पार्टी (RLD-SP Candidate) के प्रत्याशी दबंग मदन भैया (Madan Bhaiya) के खिलाफ मोर्चा खुल गया है। गाजियाबाद के लोनी से विधानसभा चुनाव में हार झेलने वाले मदन भैया को राष्ट्रीय लोकदल के मुखिया जयंत चौधरी (Jayant Chaudhary) के रविवार को संयुक्त प्रत्याशी घोषित करने के बाद पार्टी के नेता ही विरोध करने लगे हैं।
मुजफ्फरनगर के खतौली विधान सभा सीट से उपचुनाव के लिए राष्ट्रीय लोकदल से टिकट नहीं मिलने से आहत होकर पार्टी के पूर्व प्रदेश प्रवक्ता अभिषेक गुर्जर (Abhishek Gurjar) ने इंटरनेट मीडिया पर वीडियो जारी किया है। राष्ट्रीय लोकदल के पूर्व प्रदेश प्रवक्ता ने वीडियो संदेश में कहा कि टिकट न मिलने से आहत हूं और निराश हूं। जल्द ही निर्णय लिया जाएगा। मैंने तो अपना निर्णय लेने के लिए 15 नवंबर को खतौली में जिम्मेदार लोगों की बैठक बुलाई है। इस बैठक में जैसे मेरे समर्थक राय देंगे, मैं वैसा ही निर्णय भी करूंगा।
अभिषेक गुर्जर ने 2017 में भी खतौली से राष्ट्रीय लोकदल से टिकट की दावेदारी की थी। पार्टी ने जब 2022 में समाजवादी पार्टी के साथ मिलकर चुनाव लड़ा फिर भी उनको टिकट नहीं मिल पाया। राष्ट्रीय लोकदल ने राजपाल सिंह सैनी को टिकट दिया, जिनको भारतीय जनता पार्टी के विक्रम सिंह सैनी ने हराया। इससे पहले 2017 में भाजपा के विक्रम सिंह सैनी ने समाजवादी पार्टी के प्रत्याशी को शिकस्त दी थी।
बहुजन समाज पार्टी से वर्ष 2000 में राजनीतिक पारी प्रारंभ करने वाले अभिषेक गुर्जर ने 2016 में राष्ट्रीय लोकदल का दामन थामा था। वर्ष 2017 में खतौली से टिकट के दावेदार रहे अभिषेक चौधरी को राष्ट्रीय लोकदल ने पहले जोनल और फिर प्रदेश प्रवक्ता बनाया।
बसपा को छोड़कर रालोद का दामन थामने वाले अभिषेक चौधरी (गुर्जर) बसपा में तीन बार जिला महासचिव, दो बार जिला प्रभारी शामली के पद रहे। इसके साथ गुर्जर महासभा में भी राष्ट्रीय महासचिव के पद भी रहे थे। अभिषेक गुर्जर मई 2016 में बसपा को छोड़कर रालोद में शामिल हो गए।
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