UP Govt 2022: योगी कैबिनेट 2.0 में खाली हाथ रह गया अमरोहा, दो विधायकों ने दर्ज की लगातार दूसरी जीत पर नहीं बन सके मंत्री
UP Yogi Adityanath Cabinet 2.0 Latest News 14 फरवरी को अमरोहा में दूसरे चरण में विधानसभा चुनाव के लिए मतदान किया गया था। जिसके बाद 10 मार्च को मतगणना हुई तो मंडी धनाैरा विधानसभा से विधायक राजीव तरारा और हसनपुर विधानसभा से महेंद्र खड़गवंशी दोबारा विधायक बने।

अमरोहा, (सौरव प्रजापति)। यूं तो अमरोहा जनपद पूर्व की सरकारों में वीआइपी श्रेणी में रहा है लेकिन, इस बार योगी सरकार के दूसरे राज में यहां पर एक भी मंत्री पद नहीं मिला है। ऐसे में कार्यकर्ताओं की उम्मीद टूटी है। जबकि सपा सरकार में इस जनपद से तीन-तीन मंत्री रहे हैं। पिछली भाजपा की सरकार में भी चेतन चौहान को मंत्री बनाया था लेकिन, इस बार दोबारा विधायक बनने के बाद भी महेंद्र खड़गवंशी व राजीव तरारा को मंत्री पद नहीं दिया गया है।
14 फरवरी को अमरोहा में दूसरे चरण में विधानसभा चुनाव के लिए मतदान किया गया था। जिसके बाद 10 मार्च को मतगणना हुई तो मंडी धनाैरा विधानसभा से विधायक राजीव तरारा और हसनपुर विधानसभा से महेंद्र खड़गवंशी दोबारा विधायक बने। जबकि नौगावां व अमरोहा की सीट सपा के खाते में गई। लगातार दो बार विधायक बनने पर यहां के लोगों को उम्मीदें थी कि राजीव या महेंद्र सिंह खड़गवंशी को इस बार भाजपा सरकार के मंत्री मंडल में जगह मिलेगी। इसके लिए लोगों ने मांग भी उठाई लेकिन, शुक्रवार को लखनऊ में आयोजित हुए योगी सरकार के दूसरे राज के शपथ ग्रहण समारोह में अमरोहा की भाजपा को हाशिए पर रखा गया।
जनपद से दोनों विधायकों को मंत्री मंडल से दूर रखा गया। ऐसे में यहां के कार्यकर्ताओं का उम्मीदें टूट गई। खास बात है कि अमरोहा जनपद पहली सरकाराें में हमेशा वीआइपी श्रेणी में रहा है। खास बात है कि वर्ष 2012 से 17 तक रही सपा की सरकार में अमरोहा शहर के विधायक महबूब अली, हसनपुर विधायक कमाल अख्तर को कैबिनेट मंत्री बनाया गया था। नौगावां सादात के मौलाना जावेद आब्दी को भी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड का अध्यक्ष बनाया गया था। मंडी धनौरा से डा. मोहम्मद इस्माइल को खाद एवं रसद विभाग का सदस्य बनाया था। इसके अलावा मनवीर चिकारा भी सपा की सरकार में रूतबे के साथ रहे। पिछली बार यानी 2017 से 22 तक योगी सरकार में चेतन चौहान को कैबिनेट मंत्री बनाकर जनपद की वीआइपी श्रेणी बरकरार रखी मगर, अब दूसरी बार सरकार बनने पर ये मिथक टूट गया। लगातार दूसरी बार जीतने के बाद भी धनौरा के विधायक राजीव तरारा व हसनपुर विधायक महेंद्र सिंह खड़गवंशी खाली हाथ रहे।
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