कुंदरकी उपचुनाव में पुलिस की कार्रवाई से सपा खेमे में खलबली; प्रत्याशी हाजी रिजवान, बेटे समेत 17 पर केस
UP Politics कुंदरकी विधानसभा सीट के उपचुनाव में समाजवादी पार्टी के उम्मीदवार हाजी रिजवान पर मुकदमा दर्ज किया गया है। उन पर सरकारी कार्य में बाधा डालने सड़क जाम करने उपनिरीक्षक से गाली-गलौज करने और जान से मारने की धमकी देने के आरोप हैं। पुलिस की इस कार्रवाई से सपा कार्यकर्ताओं में खलबली मच गई है। सपा के पास ये सीट पिछले लंबे समय से है।
जागरण संवाददाता, मुरादाबाद। कुंदरकी विधानसभा क्षेत्र उपचुनाव में सपा प्रत्याशी हाजी रिजवान, उनके बेटे समेत 17 के विरुद्ध लोकसेवक को डराने, सरकारी काम में बाधा, बलवा, धमकी व आईटी एक्ट की धारा में प्राथमिकी लिखी गई है।
आचार संहिता से पहले उन पर फर्जी प्रपत्रों के आधार पर वोटर आईडी कार्ड बनवाने के आरोप में प्राथमिकी लिखी जा चुकी है। लिहाजा, इस चुनाव में उन पर यह दूसरी प्राथमिकी है।
मूंढापांडे थाने के दारोगा नरेंद्र सिंह के अनुसार, छह नवंबर को दोपहर साढ़े तीन बजे सपा प्रत्याशी हाजी रिजवान 10-15 समर्थकों संग थाने के गेट पर खड़े होकर पुलिस को भला-बुरा कह रहे थे। समर्थकों संग हंगामा कर रहे थे जिससे आवागमन प्रभावित हो रहा था। इस पर हाजी रिजवान, उसके बेटे व समर्थकों को रोड से हटकर बात करने को कहा गया तो बिना वजह गाली-गलौच करते हुए धक्का-मुक्की शुरू कर दी।
सरकारी काम में बाधा डालने का आरोप
दारोगा के अनुसार सरकारी काम में बाधा पहुंचाते हुए बिना वजह पुलिस-प्रशासन को बदनाम करने की नियत से हंगामा करने लगे। तब थाने का सारा स्टाफ आ गया। जैसे-तैसे उन्हें हटाया गया और जाम खुलवाया गया। इस पर हाजी रिजवान एवं उनके समर्थक जान से मारने की धमकी देते हुए चले गए। इतना ही नहीं इसके बाद पुलिस को बदनाम करने के उद्देश्य से एक वीडियो इंटरनेट मीडिया पर प्रसारित कर दिया जिससे राजनीतिक लाभ लिया जा सके। इससे पुलिस विभाग की प्रतिष्ठा को ठेस पहुंची है।
घटनाक्रम में प्राथमिकी दर्ज
बता दें कि सपा उम्मीदवार थाने में किसी कार्यकर्ता को छुड़ाने के लिए पहुंचे थे जिसके बाद यह पूरा घटनाक्रम हुआ था। एसएसपी सतपाल अंतिल ने बताया कि प्रसारित वीडियो के आधार पर मामले में प्राथमिकी पंजीकृत कराकर अग्रिम विधिक कार्रवाई सुनिश्चित कराई जा रही है।
2022 की बात भुलाकर हाजी रिजवान को लगाया गले
वेट एंड वॉच की नीति पर चल रही सपा ने पूर्व विधायक हाजी रिजवान को मैदान में उतारा है। हालांकि, 2022 के चुनाव में हाजी रिजवान ने पार्टी से बगावत कर बसपा से चुनाव लड़ा था, लेकिन उन्होंने लोकसभा चुनाव में घर वापसी कर ली थी। संभल से लोकसभा प्रत्याशी जियाउर्रहमान बर्क कुंदरकी से रिकॉर्ड मतों से जीते थे। लिहाजा पार्टी नेतृत्व ने हाजी रिजवान पर फिर भरोसा जताया है। कुंदरकी से 2022 में जीते जियाउर्रहमान के संभल से सांसद बनने के बाद यह सीट रिक्त होने के बाद उपचुनाव हो रहा है।
तीन बार विधायक रह चुके हैं हाजी रिजवान
हाजी रिजवान के साथ ही सपा में कई अन्य दावेदार भी थे। खुद सांसद के परिवार से भी दावेदारी की जा रही थी। इसके अलावा प्रबल दावेदारों में मुरादाबाद के पूर्व सांसद डा. एसटी हसन भी शामिल थे। यहां तक जिलाध्यक्ष भी बिना शोर मचाए टिकट के लिए दावेदारी कर रहे थे। पिछले चुनाव में हाजी रिजवान के पार्टी छोड़कर जाने का मुद्दा भी दावेदार जोरशोर से उछाल रहे थे। इसके बावजूद रिजवान पार्टी मुखिया अखिलेश यादव का भरोसा जीतने में कामयाब रहे। हाजी रिजवान इससे पहले तीन बार (2002, 2012 और 2017) सपा से विधायक रह चुके हैं।
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बताया जाता है कि अखिलेश यादव ने हाजी रिजवान को पूर्व में ही ल़ड़ने के लिए हरी झंडी दे दी थी। लेकिन, इसकी सार्वजनिक घोषणा नहीं की गई थी। पार्टी के अन्य दावेदारों को लखनऊ बुलाकर बात की थी। उनमें आम सहमति बनाई गई थी। क्योंकि कुंदरकी सीट सपा की परंपरागत सीट रही है। लिहाजा पार्टी नेतृत्व कोई जोखिम उठाना नहीं चाहता है।
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