बागवानी को मिलेगा बढ़ावा, हर ब्लाक का एक गांव बनेगा माडल
बागवानी को बढ़ावा देने के लिए उद्यान विभाग अब हर ब्लाक में एक माडल गांव विकसित करेगा।

बागवानी को मिलेगा बढ़ावा, हर ब्लाक का एक गांव बनेगा माडल
जागरण संवाददाता, मीरजापुर : बागवानी को बढ़ावा देने के लिए उद्यान विभाग अब हर ब्लाक में एक माडल गांव विकसित करेगा। बागवानी मिशन योजना से गुणात्मक उत्पादन को प्रोत्साहन तो मिलेगा ही, किसान भी समृद्ध होंगे। जनपद के 12 गांव पूरी तरह से उद्यान विभाग की योजनाओं से संतृप्त होंगे। इससे किसानों की आय दोगुनी होगी ही, वह उद्यान विभाग की खेती की तरफ भी बढ़ सकेंगे।
बागवानी मिशन को बढ़ावा देने के लिए शासन गांवों में किसानों को बागवानी से जोड़ रहा है। साथ ही विभागीय अफसरों ने गांवों को माडल बनाने के लिए प्रक्रिया भी शुरू कर दी है। जनपद में कुल 12 ब्लाक हैं। हर एक ब्लाक से एक गांव को माडल गांव के लिए चिन्हित किया जाएगा। इसके बाद दूसरे चरण में गांवों की संख्या को बढ़ा दिया जाएगा। बागबानी की खेती कर किसान अपनी आय दोगुनी कर रहे हैं, लेकिन काफी संख्या में किसान इस योजना का लाभ नहीं ले पाते। ऐसे किसानों के लिए अब उद्यान विभाग गांवों में बागवानी की फसलों को बढ़ावा देने के लिए नई योजना शुरू कर रहा है। बागबानी से जड़ी-बूटियों की भी पैदावार हो सकेगी। बागवानी से उद्यान विभाग की आधुनिक तकनीक प्रदर्शित होंगे और आसपास के बागवान प्रेरित होकर अच्छी फसलों को अपनाकर आय बढ़ा सकेंगे।
प्रत्येक ब्लाक से लिया जाएगा एक गांव : उद्यान अधिकारी मेवाराम ने बताया कि प्रत्येक ब्लाक से एक गांव को चुना जाएगा और वहां के किसानों को बागबानी की योजनाओं से जोड़ा जाएगा। साथ ही समय-समय पर किसानों को बागबानी की योजनाओं के बारे में विस्तार से बताया जाएगा और विभाग की योजनाओं के अंतर्गत किसानों से बागबानी की खेती कराई जाएगी।
सभी प्रकार की होगी खेती : बागवानी मिशन के तहत जिन गांवों को माडल बनाया जाएगा, वहां किसानों को विभिन्न प्रकार की खेती कराई जाएगी। किसानों को पाली हाउस में फूल और बेमौसमी सब्जी व फलों की खेती कराई जाएगी। इसके अलावा जड़ी बूटियों में सतावर, तुलसी सहित अन्य प्रकार की खेती कराई जाएगी। ड्रिप, स्प्रिंकलर सिंचाई पद्धति, पाली हाउस, शे़ड नेट हाउस, सब्जियों की खेती, मधुमक्खी पालन, मशरूम उत्पादन, प्रोसेसिंग यूनिट, जैविक खेती, पैक हाउस, प्याज भंडार गृह, प्रिजर्वेशन यूनिट मशीनीकरण आदि कार्यक्रम से किसानों को जोड़ा जाएगा। विभागीय प्रक्षेत्रों व राजकीय पौधशाला की शत-प्रतिशत भूमि का उपयोग कर गुणवत्तायुक्त सब्जी, बीज व फलों के उत्कृष्ट पौधे तैयार किए जाएंगे। रिक्त उपजाऊ भूमि पर उच्च गुणवत्ता के सब्जी, बीज उत्पादन बढ़ाया जाएगा।
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प्रत्येक ब्लाक के एक-एक गांव माडल गांव बनेंगे। जो गांव सर्वाधिक योजनाओं से आच्छादित होंगे, उसी गांव को चयनित किया जाएगा। चयन प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। देखा जा रहा है कि परंपरागत खेती से हटकर सब्जी या औषधि खेती से कितने किसान जुड़े हैं। इन किसानों के साथ अन्य किसानों को भी प्रेरित किया जाएगा।
- मेवाराम, उद्यान अधिकारी, मीरजापुर।
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