तोरिया और लाही की खेती के लिए मिलेगा निश्शुल्क बीज, किसान इस योजना में 15 अगस्त तक करें आवेदन
मीरजापुर के किसान अब सरसों की तरह तोरिया और लाही की खेती कर सकते हैं। कृषि विभाग ने 15 अगस्त तक ऑनलाइन आवेदन के माध्यम से पंजीकृत किसानों को मुफ्त मिनी किट प्रदान करने की घोषणा की है। यह पहल तिलहन खेती को बढ़ावा देने और खरीफ की फसल में नुकसान से उबरने में मदद करेगी। तोरिया की फसल 80-85 दिनों में तैयार हो जाती है।

जागरण संवाददाता, मीरजापुर। किसान सरसो की तरह तोरिया व लाही की खेती कर सकते हैं। कृषि विभाग के पोर्टल पर पंजीकृत किसान 15 अगस्त तक आनलाइन आवेदन करके मिनी किट के लिए निश्शुल्क बीज प्राप्त कर सकते हैं। आनलाइन लाटरी से लाभार्थी का चयन किया जाएगा।
किसानों को पीओएस मशीन से तोरिया बीज मिनी किट दिया जाएगा। उप कृषि निदेशक विकेश पटेल ने बताया कि तिलहनी खेती को बढ़ावा देने के लिए सरसों की तरह तोरिया अथवा लाही की खेती भी कैच क्राप के रूप में की जाती है। खरीफ की असफल बुवाई, क्षतिग्रस्त फसल अथवा रबी की फसल लेने से पहले कम अवधि (80 से 85 दिन) तोरिया की फसल ले सकते है।
इसे लाही अथवा राई भी कहते है। इसकी बुवाई सितंबर के प्रथम से द्वितीय पखवाड़े तक कर सकते हैं। बीज 4 से 5 किग्रा प्रति हेक्टेयर लगता है। तोरिया की प्रजाति पीटी 303, पीटी 30, टाइप 9, टाइप 36 अथवा तपेश्वरी लगा सकते है। इस फसल में लगभग 40 से 42 प्रतिशत तक तेल प्राप्त कर सकते हैं।
तोरिया का उत्पादन एक हेक्टयेर में 10 से 12 क्विंटल तक होता है। विकास खंड सिटी 40, कोन 35, मझवां 37, पहाड़ी 55, छानबे 65, नरायनपुर 40, जमालपुर 35, सीखड़ 35, लालगंज 65, हलिया 65, राजगढ़ 65 और पटेहरा कला में 65 पैकेट सहित कुल 600 पैकेट आवंटित है।
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