Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    390 के पार पहुंचा पल्लवपुरम और जयभीमनगर में AQI, खराब हवा से फेफड़ों में बढ़ रहा बोझ

    Updated: Sun, 23 Nov 2025 04:45 AM (IST)

    विषाक्त कणों का स्तर लगातार खतरनाक सीमा पार कर रहा है। शाम 7 बजे पल्लवपुरम में AQI 396 और जयभीमनगर में 395 दर्ज किया गया। सुबह से दोपहर तक PM 2.5 की मात्रा 415–500 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर रही। दोपहर में ओजोन का स्तर 170 (खराब श्रेणी) तक पहुंच गया, जबकि रात में कार्बन मोनोऑक्साइड और नाइट्रोजन डाइऑक्साइड की मात्रा भी स्वास्थ्य के लिए हानिकारक स्तर पर रही।    

    Hero Image

    जागरण संवददाता, मेरठ। विषाक्त कणों का जमाव खतरे के पार जा रहा है। इससे बचाव के उपाय भी कारगर होते नहीं दिख रहे। शाम सात बजे पल्लवपुरम में एक्यूआइ 396 और जयभीमनगर में 395 रहा। सुबह छह बजे से दोपहर 12 बजे तक पीएम 2.5 की मात्रा 415 से 500 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर तक रही। दोपहर में ओजोन की मात्रा 170 तक (खराब मानक) रही। वहीं, रात में कार्बन मोनो आक्साइड और नाइट्रोजन डाइ आक्साइड की मात्रा स्वास्थ्य के लिए हानिकारक स्तर को छू रही है।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    रात में नमी का उच्च प्रतिशत बना है। शनिवार को अधिकतम आर्द्रता 91 प्रतिशत रही। अधिकतम तापमान 26 और न्यूनतम तापमान 11.6 डिग्री सेल्सियस रहा। मेरठ कालेज के भूगोल विभाग के पूर्व अध्यक्ष डा. कंचन सिंह ने बताया कि ठंड में वायु दबाव अधिक होने के कारण प्रदूषित कण नीचे की सतह पर हैं।

    मेरठ फोरम फार क्लीन एयर के अध्यक्ष डा. संदीप जैन ने बताया कि दूषित वायु फेफड़ों के साथ आंख, त्वचा, हृदय, मस्तिष्क पर बुरा प्रभाव डालती है। बचाव के रूप में तरल पदार्थों का सेवन करना चाहिए। वरिष्ठ फिजीशियन डा. संदीप जैन ने बताया कि कार्बोहाइड्रेट और शर्करा की जगह भोजन में प्रोटीन की मात्रा अधिक लें। एंटी आक्सीडेंट कोशिकाओं को क्षतिग्रस्त होने से बचाते हैं, इसलिए इनका सेवन जरूरी है।

    वायु प्रदूषण से बचाव के लिए करें ये उपाय

    1. -एन 99 या एन 95 मास्क पहनकर घर से बाहर निकलें
    2. -सुबह सैर न करें। शारीरिक श्रम करें। घर में प्राणायाम करें।
    3. -भीड़ या जहां जाम लगने की संभावना हो, वहां जाने से बचें
    4. -घरों में शुद्ध वायु प्रवाह के लिए एग्जास्ट फैन का प्रयोग करें
    5. -चूल्हा, लकड़ी से खाना न बनाएं, गैस का इस्तेमाल करें
    6. -तेज सुगंध वाली अगरबत्ती, धूप बत्ती का इस्तेमाल न करें
    7. -घर के आसपास पेड़ पौधे लगाएं, खिड़की, दरवाजों पर पर्दे डालें।