Meerut News : आशीर्वाद हास्पिटल का एक हिस्सा तोड़ने का काम शुरू, इससे यह संपर्क मार्ग प्रवेश के लिए हो जाएगा 15 मीटर चौड़ा
Meerut News रू मेरठ में आशीर्वाद हास्पिटल का एक भाग तोड़ने का काम शुरू हो गया है। इसके बाद बागपत रोड-रेलवे रोड संपर्क मार्ग प्रवेश के लिए 15 मीटर चौड़ा हो जाएगा, जिससे यातायात में सुविधा होगी। राज्यसभा सदस्य डा. लक्ष्मीकांत बाजपेयी ने इस मार्ग का नामकरण क्रांति पथ रखने का सुझाव दिया है।

आर्शीवाद हास्पिटल के हिस्से को तोड़ने का काम शुरू
जागरण संवाददाता, मेरठ। बागपत रोड-रेलवे रोड संपर्क मार्ग 6.9 मीटर खुल चुका है। अब आर्शीवाद हास्पिटल के हिस्से को तोड़ने का काम शुरू कर दिया गया है। करीब 7.9 मीटर हास्पिटल का हिस्सा टूटेगा। इससे बागपत रोड पर संपर्क मार्ग प्रवेश के लिए 15 मीटर चौड़ा हो जाएगा। इसके साथ ही राज्यसभा सदस्य डा. लक्ष्मीकांत बाजपेयी ने संपर्क मार्ग का नामकरण क्रांति पथ रखने का सुझाव दिया है।
संपर्क मार्ग पर आर्मी क्वाटर्स की तरफ बनी दीवार पर 1857 की क्रांति गाथा लिखी जाएगी। इतिहास के पन्नों में दर्ज इस क्रांति की यादों को ताजा करती हुई चित्रकारी भी की जाएगी। मेरठ विकास प्राधिकरण की ओर से पहल एक प्रयास संस्था से इसके लिए संपर्क किया गया है।
बागपत रोड स्थित आशीर्वाद हास्पिटल के निदेशक डा. प्रदीप बंसल ने दीपावली के बाद 7.9 मीटर अपने हिस्से को तोड़ने का वादा किया था। जिसके क्रम में उस हिस्से को तोड़ा जा रहा है। इस हिस्से के लिए मुआवजा के तौर पर मेरठ विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष संजय कुमार मीना व राज्यसभा सदस्य डा. लक्ष्मीकांत बाजपेयी चेक सौंप चुके हैं। हास्पिटल के ऊपरी मंजिल को तोड़ा गया है।
जिसका मलबा सड़क पर गिरने के कारण ट्रैफिक पुलिस ने बेरीकेंडिंग लगाकर संपर्क मार्ग पर आवागमन को रोक दिया था। दरअसल, बाइक-स्कूटी व कार सवार बड़ी संख्या में निकल रहे थे। हास्पिटल की छत व दीवार तोड़ने के दौरान मलबा नीचे गिरने से दुर्घटना का खतरा था। मेडा के अधिशासी अभियंता पवन भारद्वाज ने बताया कि हास्पिटल का हिस्सा तीन दिन में हट जाएगा। इससे बागपत रोड पर संपर्क मार्ग 7.9 मीटर और चौड़ा हो जाएगा। पहले से खुले मार्ग को मिलाकर कुल चौड़ाई 15 मीटर हो जाएगी। इसके बाद सड़क पर डामर डालने का काम होगा। राज्यसभा सदस्य डा. लक्ष्मीकांत बाजपेयी ने क्रांति पथ नाम रखने का सुझाव दिया है। क्रांति पथ केवल नाम से नहीं बल्कि संपर्क मार्ग से जब लोग गुजरे तो उन्हें 1857 की क्रांति की झलक दीवार पर दिखे। इसके प्रयास तेज कर दिए गए हैं।
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