यूपी के इस शहर की हवा सबसे प्रदूषित, सांस लेना भी मुश्किल; 'बेहद खराब' स्तर पर वायु गुणवत्ता
दीपावली के बाद मेरठ उत्तर प्रदेश का सबसे प्रदूषित शहर बन गया है। जयभीम नगर और पल्लवपुरम में वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) बहुत अधिक है, और पीएम 2.5 का स्तर खतरनाक स्तर तक पहुँच गया है। ओजोन, अमोनिया और सल्फर डाइऑक्साइड जैसे अन्य प्रदूषकों का स्तर भी बढ़ा हुआ है। मौसम में बदलाव से प्रदूषण में कमी आने की उम्मीद है।

जागरण संवाददाता, मेरठ। दीपावली पर पटाखों के प्रदूषण से शहर की वायु गुणवत्ता लगातार बदतर बनी है। गुरुवार को मेरठ प्रदेश का सबसे प्रदूषित शहर रहा। गाजियाबाद, नोएडा जैसे शहरों में वायु प्रदूषण की स्थिति सुधरी है लेकिन मेरठ में यह बेहद खराब स्तर पर है।
गुरुवार शाम चार बजे जयभीम नगर में एक्यूआइ 330 और पल्लवपुरम में 326 आंका गया। पल्लवपुरम और जयभीम नगर में तो स्थिति गंभीर बनी है। यहां गुरुवार दोपहर को पीएम 2.5 की मात्रा 410 से 442 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर रही। ऐसी हवा में सांस लेना स्वास्थ्य के लिए बेहद खतरनाक है।
पीएम 2.5 ही नहीं, ओजोन, अमोनिया, सल्फर डाई आक्साइड का स्तर भी बढ़ा हुआ है। हवा की रफ्तार कम होने से प्रदूषण की धुंध छंटने का नाम नहीं ले रही है। सरदार वल्लभभाई पटेल कृषि विश्वविद्यालय के मौसम केंद्र प्रभारी डा. यूपी शाही ने बताया कि नवंबर के आरंभ में पश्चिम विक्षोभ सक्रिय होने की संभावना है। तभी बरसात की भी संभावना है, जिससे प्रदूषण में भी कमी आएगी।

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