ढाई माह के मासूम को उठा ले गया बंदर, इस कारण हुई मौत
बागपत के गांव गढ़ी कलंजरी निवासी प्रिंस कसाना की पत्नी कोमल अपने ढाई माह के बेटे केशव को लेकर सास व ननद के साथ नीचे कमरे में सो रही थीं। स्वजन के अनुसार रात करीब 11 बजे कोमल लघुशंका के लिए उठीं। वापस लौटीं तो मासूम केशव गायब था।
बागपत, जागरण संवाददाता। गढ़ी कलंजरी गांव में शनिवार रात बंदर ढाई माह के बालक को कमरे से उठाकर ले गया। बच्चा बंदर से छूटकर पानी से भरे ड्रम में गिर गया और उसकी मौत हो गई।
यह है मामला
प्रिंस कसाना पुत्र भंवर सिंह रात में मकान की दूसरी मंजिल पर बने कमरे में सो रहे थे। उनकी पत्नी कोमल अपने ढाई माह के बेटे केशव को लेकर सास व ननद के साथ नीचे कमरे में सो रही थीं। स्वजन के अनुसार रात करीब 11 बजे कोमल लघुशंका के लिए उठीं। वापस लौटीं तो मासूम केशव गायब था। शोर मचाने पर स्वजन और ग्रामीणों ने बच्चे की तलाश की, लेकिन पता नहीं चला। मंदिर से एनाउंसमेंट भी कराया गया। पुलिस ने भी तलाश शुरू कर दी। पड़ोस के मकान पर लगे सीसीटीवी कैमरे की फुटेज देखी तो कमरे से बंदर निकलता हुआ दिखाई दिया। स्वजन ने बताया कि बंदर ही बच्चे को उठाकर ले गया होगा। आसपास बच्चे की तलाश की तो वह मकान में रखे पशुओं के पानी भरे ड्रम में पड़ा मिला। स्वजन उसे दिल्ली के एक अस्पताल में ले गए जहां डाक्टरों ने मृत घोषित कर दिया। मासूम की मौत से कोहराम मच गया। ग्रामीणों ने बताया कि पहले भी बंदर कई लोगों को घायल कर चुके हैं। अधिकारियों से कई बार बंदरों को पकड़वाने की मांग कर चुके हैं लेकिन कोई सुनवाई नहीं हो रही।
25 दिन पहले भी केशव को ले गया था बंदर
स्वजन ने बताया कि गत वर्ष दिसंबर में एक मादा बंदर के बच्चे की मौत हो गई थी। तभी से उक्त बंदर अन्य से दूर-दूर रहता है। 25 दिन पहले भी यह बंदर केशव को उठाकर ले गया था। छत पर दौड़ते समय बंदर से बच्चा छूट गया था और उसे बचा लिया गया था।
इन्होंने कहा
- वानर प्रजाति अपने बच्चों से काफी प्रेम करती है। मादा वानर के बच्चे की मौत के बाद वह इंसान के छोटे बच्चे को अपना समझने लगी होगी। इसी कारण मादा वानर ने मासूम बच्चे को उठाया और उसकी पानी के ड्रम में गिरने से मौत हो गई।
- डा. अमित सक्सेना, पशु चिकित्सक।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।