राजकीय इंटर कॉलेज के कंप्यूटर लैबों की बदली तस्वीर, बोर्ड परीक्षा के लिए बनेगा कंट्रोल रूम Meerut News
जीआइजी में लैबों की साफ सफाई कराकर सुव्यवस्थित करने के साथ ही अब वर्ष 2020 की बोर्ड परीक्षा के लिए जिला स्तरीय कंट्रोल रूम बनाया जा रहा है।
मेरठ, जेएनएन। राजकीय इंटर कॉलेज मेरठ में लाखों रुपये की लागत से बने पहले कंप्यूटर लैब और आईसीटी योजना के तहत बने दूसरे कंप्यूटर लैब की खस्ताहाल तस्वीर दैनिक जागरण में प्रमुखता से दिखाने के बाद अब शिक्षा विभाग और जीआईसी प्रबंधन ने मिलकर दोनों कंप्यूटर लैब को व्यवस्थित करना शुरू कर दिया है। इनमें से दोनों ही लैबों की साफ सफाई कराकर सुव्यवस्थित करने के साथ ही अब वर्ष 2020 की बोर्ड परीक्षा के लिए जिला स्तरीय कंट्रोल रूम बनाया जा रहा है।
लगवाए जाएंगे कंप्यूटर भी
इस बार की बोर्ड परीक्षा के लिए आईसीटी लैब में कंट्रोल रूम बनाया जा रहा है। इसके बाद बड़े लैब को सुव्यवस्थित कर अगले साल से जिला स्तरीय कंट्रोल रूम उसी में बनाया जाएगा। इसके साथ ही यहां कंप्यूटर लगवाकर शिक्षकों की आईसीटी ट्रेनिंग और विभागीय कार्य किए जाएंगे जिससे कंप्यूटर लैब पूरे वर्ष संचालित रहे और विभागीय बैठकों व योजनाओं के कार्य भी इसमें किए जा सके।
18 फरवरी से बोर्ड परीक्षा
18 फरवरी से बोर्ड परीक्षाएं शुरू हो रही हैं। जिले में इन दिनों शिक्षा विभाग और प्रशासन की ओर से परीक्षा की तैयारियों को अंतिम रूप दिया जा रहा है। जिले में 101 परीक्षा केंद्र बने हैं। इस साल सभी परीक्षा केंद्रों पर केंद्रीय स्तर से निगरानी के लिए जिला स्तरीय कंट्रोल रूम बनाया जा रहा है। सभी परीक्षा केंद्रों में लगे सीसीटीवी कैमरे राउटर के जरिए कंट्रोल रूम से सीधे जुड़ेंगे। सीधे कंट्रोल रूम से ही हर परीक्षा केंद्र में चल रही परीक्षा को कोई भी अधिकारी किसी भी समय देख सकेंगे।
जल्द कार्य पूरा करने के निर्देश
परीक्षा केंद्रों पर जितने कमरों में परीक्षा होगी वहां की परीक्षा सीधे कंट्रोल रूम से देखी जा सकेगी। कंट्रोल रूम को संचालित करने और सभी परीक्षा केंद्रों से जोड़ने के लिए जिला प्रशासन ने शिक्षा विभाग को जल्द से जल्द यह कार्य पूरे करने के निर्देश दिए हैं। 101 परीक्षा केंद्रों में करीब 90 परीक्षा केंद्र में राउटर लगाए जा चुके हैं। शेष केंद्रों पर राउटर लग रहे हैं। सभी केंद्रों पर राउटर लगने के बाद उन्हें कंट्रोल रूम से जोड़ने और लाइव तस्वीर देखने की टेस्टिंग की जाएगी।
नेटवर्क बन रहा चुनौती
परीक्षा केंद्रों को कंट्रोल रूम से राउटर के जरिए जोड़ने के लिए इंटरनेट की अनिवार्यता है। शहरी क्षेत्रों में इंटरनेट की व्यवस्था बीएसएनल की ब्रॉडबैंड कनेक्शन से की जा रही है, पर ग्रामीण क्षेत्रों में यह व्यवस्था नहीं है। विभागीय तौर पर बीएसएनल के ही नेटवर्क को प्रमुखता दी जा रही है, जबकि ग्रामीण क्षेत्र में नेटवर्क की समस्या देखने को मिल रही है। इसके साथ ही छावनी क्षेत्र के स्कूलों में भी इंटरनेट कनेक्शन ठीक ना होने के कारण कैमरों की लाइव तस्वीर मिलने में दिक्कत आ रही है। धीरे-धीरे इन्हीं बिंदुओं पर समस्या का समाधान करने की कोशिश की जा रही है।
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