Mathura News: चीन से नोट छापने वाला पेपर मंगाकर देश में सप्लाई करते थे नकली करेंसी, गैंग के तीन सदस्य पकड़े
Mathura News 500-500 के नोट के 1.50 लाख रुपये के नकली नोट बरामद हुए। सात अन्य लोगों की तलाश चल रही है। चीन की गुआंगझू बोनेड्राई कम्पनी लिमिटेड से नोट छापने के लिए ऑनलाइन सिक्योरिटी पेपर मंगाते थे। देश के कई राज्यों में ये नकली नोट छापकर भेजते थे।
मथुरा, जागरण टीम। यूपी के मथुरा में राजकीय रेलवे पुलिस ने नकली नोट छापने के गिरोह का भंडाफोड़ किया। पूरे देश में नकली नोट का कारोबार करने वाले गिरोह के तीन सदस्यों को दबोचा। इनके कब्जे से 1.50 लाख रुपये के नकली नोट बरामद हुए हैं। नोट छापने के लिए सिक्योरिटी पेपर भी मिला। ये पेपर ये चीन की कंपनी से आनलाइन मंगवाते थे। गिरोह के तार कई राज्यों से जुड़े हैं। फरार सात साथियों की तलाश में पुलिस की टीमें दबिश दे रही हैं।
अंतरराष्ट्रीय गिरोह के तीन सदस्यों को दबोचा
पुलिस अधीक्षक रेलवे मोहम्मद मुश्ताक ने बताया कि शुक्रवार को चेकिंग के दौरान प्लेटफार्म नंबर चार से जाली नोटों का कारोबार करने वाले अंतरराष्ट्रीय गिरोह के तीन सदस्यों को दबोचा गया। पूछताछ में इन्होंने अपने नाम कलीमुल्ला काजी निवासी खटीकों का मुहल्ला, थाना चौथ का बरवाड़ा सवाई माधोपुर, राजस्थान, मोहम्मद तकीम उर्फ तकी निवासी मुहल्ला छत्रपुरा तालाब आइप्पा मंदिर के पास विज्ञान नगर कोटा और ट्रेन में कोच अटेंडेंट धर्मेंद्र निवासी वसवार मजदिया थाना कुरुसेला जिला कटिहार, पटना बताए।
इनके कब्जे से 500-500 रुपये के 300 जाली नोट, चार अर्द्धनिर्मित नोट, दो हजार रुपये का एक अर्द्धनिर्मित नोट, 36 सिक्योरिटी पेपर, इस पर हरे रंग का सिक्योरिटी थ्रिड लगा था। भारत व आरबीआइ लिखा है। वाटर मार्क में गांधीजी का फोटो मार्क है। तीन मोबाइल भी बरामद हुए।
चीन से मंगाते थे पेपर
एसपी मोहम्मद मुश्ताक ने बताया कि आरोपितों की हुई पूछताछ में पता चला कि ये लोग चीन की कंपनी गुआंगझू बोनेड्राई कंपनी लिमिटेड से आनलाइन सिक्योरिटी पेपर मंगाते थे। इस गिरोह में इनके साथी सनाउल, मुस्तफा, जियाउल निवासीगण लईचक मालदा, पश्चिम बंगाल, सलीम निवासी सूजापुर मालदा, पश्चिम बगांल, रौनक उर्फ मुकेश निवासी ग्राम सृष्टि थाना चौबेपुर, वाराणसी भी शामिल रहे। पुलिस ने चीनी कंपनी के अधिकारियों को भी आरोपित बनाया है।
एसपी रेलवे ने बताया कि आरोपितों की तलाश में आठ टीमों का गठन किया गया है। ये टीमें राजस्थान, मालदा और वाराणसी भेजी गई हैं। फरार आरोपितों से नोट छापने की मशीन और सिक्योरिटी पेपर बरामद करने की कोशिश की जा रही है। एटीएस, एनआइ और आइबी को भी सूचना दी गई है। चीन की कंपनी पर कार्रवाई के लिए विदेश मंत्रालय को भी चिट्ठी लिखी जा रही है।
सात सदस्यीय एसआइटी का गठन
एसपी रेलवे ने बताया कि सात सदस्यीय एसआइटी का भी गठन किया गया है। उन्होंने बताया कि अभी तक की पूछताछ में सामने आया है कि ये सभी नकली नोटों का कारोबार देश के अलग-अलग राज्यों में बड़े स्तर पर करते हैं।
फंडिंग से भी जुड़ा हो सकता है मामला
जीआरपी हर बिंदु पर जांच कर रही है। फंडिंग से भी जोड़कर इसे देखा जा रहा है। ये पता किया जाएगा कि नकली नोटों का प्रयोग देशविरोधी गतिविधियों में तो नहीं किया जा रहा था। एक पेपर से चार नोट तैयार होते हैं। दो हजार के एक नोट तैयार करने में सौ-डेढ़ सौ रुपये खर्चा आता है। नोटों को खपाने के लिए एजेंटों का इस्तेमाल किया जाता था। यह एजेंट नोटों को छोटे-छोटे स्तर पर खपाते थे। चीन की कंपनी को यह लोग रुपया लिंक भेजकर आनलाइन मंगाते थे। चीन की कंपनी सिक्योरिटी पेपर कूरियर से भेजती थी। यह नोट बिल्कुल असली जैसे लगते हैं। पांच सौ के बाद दो हजार का नोट छापने की यह तैयारी कर रहे थे।
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