समय पर इलाज से बचाई जान, आगरा में घायल अवस्था में मिला दुर्लभ प्रजाति का लकड़बग्घा
उत्तर प्रदेश के आगरा में वन विभाग और वाइल्ड लाइफ एसओएस ने एक घायल मादा लकड़बग्घा को बचाया। गंभीर रूप से घायल लकड़बग्घा का भालू संरक्षण केंद्र में इलाज ...और पढ़ें

भालू संरक्षण केंद्र में लकड़बग्घा की चल रही गहन चिकित्सा, आगरा में मिला घायल
संवाद सूत्र जागरण, फरह। वन विभाग और वाइल्ड लाइफ एसओएस के संयुक्त बचाव अभियान में मादा लकड़बग्घा की जान बचाई। गंभीर चोटों से जूझ रहे लकड़बग्घा का अब भालू संरक्षण केंद्र में गहन उपचार चल रहा है। लकड़बग्घा वन्य जीव की संरक्षित श्रेणी में आता है।
आगरा के प्रभागीय वन निदेशक राजेश कुमार ने बताया कि तहसील फतेहाबाद क्षेत्र के गांव बिलपुरा के खेतों में लक्कड़बग्घा के घायल अवस्था में पड़े होने की जानकारी के बाद वन विभाग और वाइल्ड लाइफ एसओएस की टीम मौके पर पहुंची। तत्काल संरक्षित श्रेणी के वन्य जीव को भालू संरक्षण केंद्र में लाया गया, जहां एक्स-रे के दौरान जबड़े का फैक्चर मिला, जबकि चोटों की वजह से सूजन और दृष्टि बाधित भी हो रही थी।
भालू संरक्षण केंद्र में लकड़बग्घा की चल रही गहन चिकित्सा, आगरा में मिला घायल
वाइल्ड लाइफ एसओएस के सीईओ-संस्थापक और सीईओ कार्तिक सत्यनारायण ने बताया कि पांच सदस्य टीम जानकारी पर मौके पर पहुंची और लकड़बग्घे को लाकर गहन चिकित्सा जांच के बाद देखभाल के लिए भालू संरक्षण केंद्र में रखा गया है। उन्होंने बताया कि भारतीय उपमहाद्वीप में पाई जाने वाली लक्कड़बग्घा की यह एकमात्र प्रजाति का है, जिसका अस्तित्व अब संकट में है। इसकी 10 हजार से कम आबादी होने का अनुमान है।
वाइल्ड लाइफ एसओएस के पशु चिकित्सा के उपनिदेशक डॉ. आलिया राजा ए ने बताया कि लकड़बग्घा गंभीर हालत में मिला था, जिसका गहन चिकित्सा उपचार चल रहा है। लक्कड़बग्घा की नाजुक स्थिति पर विशेषज्ञ निगरानी रख रहे हैं।

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