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    गन्ना मंत्री के बेटे का साला निकला साइबर फ्रॉड मास्टरमाइंड, 21 करोड़ रुपये ठगी का भंडाफोड़

    Updated: Mon, 15 Sep 2025 08:11 AM (IST)

    मथुरा में साइबर पुलिस ने ट्रस्ट के नाम पर खोले गए बैंक खाते में 21 करोड़ की ठगी का भंडाफोड़ किया है। आरोपियों के अनुसार ट्रस्ट का खाता अभिषेक नामक व्यक्ति ने खुलवाया था जो गन्ना विकास मंत्री के बेटे का साला है। पुलिस के अनुसार खाते में साइबर ठगी का पैसा आता था और तुरंत दूसरे खातों में भेज दिया जाता था।

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    साइबर पुलिस की गिरफ्त में फर्जी खाता खुलवाकर 21 करोड़ की ठगी करने के आरोपित। फोटो सौ. पुलिस द्वारा

    जागरण संवाददाता, मथुरा। ट्रस्ट के नाम पर खोले गए बैंक खाते में साइबर ठगी का पैसा आता था। कुछ घंटों बाद दूसरे खातों में भेज दिया जाता था। साइबर पुलिस ने नेटवर्क का भांडाफोड़ करते हुए एक महीने में 21 करोड़ की ठगी में दो युवकों को गिरफ्तार किया है। पकड़े गए युवक का कहना है कि ट्रस्ट के नाम से बैंक एकाउंट सरगना अभिषेक ने खुलवाया था।

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    अभिषेक प्रदेश के गन्ना विकास मंत्री के बेटे का साला है। प्रदेश के गन्ना विकास एवं चीनी मिल मंत्री चौ.लक्ष्मी नारायण का कहना है कि इस तरह का मामला मेरी जानकारी में नहीं है। यदि कोई रिश्तेदार गलत करता है तो उसमें हम क्या कर सकते हैं। पुलिस अपना काम करेगी।

    छह अगस्त हो खुलवाया था खाता

    गत छह अगस्त को स्टेट बैंक ऑफ इंडिया की कैंट शाखा में गौतम उपाध्याय, शिवम कुमार और गोविंद कुमार ने शिव गौरा गोसेवा ट्रस्ट के नाम से चालू (करंट)खाता खुलवाया। एक महीने में 21 करोड़ का लेन-देने होने पर बैंक मैनेजर ने साइबर पुलिस को सूचना दी। खाते में जमा कराई गई धनराशि में से 20.93 करोड़ रुपये दूसरे बैंक खातों में भेजे गए हैं।

    इसके बाद रकम निकाल ली गई। साइबर टीम को पोर्टल पर ट्रस्ट के खाते के नाम पर ठगी की सैकड़ों शिकायतें मिलीं। बैंक खाते को होल्ड करते हुए उपलब्ध सात लाख रुपये फ्रीज कराए गए।

    सीओ ने दी जानकारी

    सीओ साइबर सेल गुंजन सिंह ने बताया कि देश भर में अलग-अलग तरीके से की गई साइबर ठगी की धनराशि ट्रस्ट के खाते में भेजी जा रही थी। बैंक खाते से जुड़े लोगों की तलाश शुरू की गई। शनिवार रात 12 बजे गौतम उपाध्याय और बल्देव सिंह को गिरफ्तार किया गया। बलदेव सिंह ने बताया कि उसकी मौसी के बेटे अभिषेक उर्फ पीके निवासी मथुरा ने ट्रस्ट के नाम खाता खुलवाया था। बैंक की पासबुक, एटीएम व अन्य दस्तावेज अभिषेक ने ले लिए और वही लेन-देन करता था।

    चारों को मिलता था कमीशन

    शर्त के अनुसार लेन-देन का 30 प्रतिशत हम चारों को मिलता था। छह सितंबर को खाता होल्ड कराए जाने की जानकारी मिलने पर सभी भूमिगत हो गए। बल्देव ने यह भी बताया कि हमारे गिरोह का सरगना अभिषेक प्रदेश के गन्ना विकास एवं चीनी मिल मंत्री चौधरी लक्ष्मीनारायण के बेटे का साला है। वह कहां है, इसके बारे में जानकारी नहीं है।

    सीओ ने बताया कि जिन खातों में धनराशि भेजी गई है, उनकी भी जांच कराई जा रही है। इसमें कई और लोग शामिल हैं। फरार सरगना अभिषेक उर्फ पीके समेत अन्य की तलाश की जा रही है।