Maharajganj News: कर्ज में डूबे दुकानदार ने उठाया ऐसा खतरनाक कदम, मच गया कोहराम; बुलानी पड़ी पुलिस
महराजगंज में कर्ज से परेशान दुकानदार नंद पटवा ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। उन पर करीब पाँच लाख रुपये का कर्ज था जिसके चलते बैंक कर्मी और एजेंट लगातार वसूली के लिए दबाव बना रहे थे। मृतक की पत्नी के अनुसार आर्थिक तंगी और कर्ज के दबाव के कारण उन्होंने यह कदम उठाया।
जागरण संवाददाता, महराजगंज। कर्ज में डूबे महराजगंज जिले के इंदिरानगर निवासी दुकानदार नंद पटवा ने रविवार की सुबह फंदे से लटक कर जान दे दी। उनका शव घर से 200 मीटर दूर दुकान के बगल में बरामदे में कुंडी के सहारे लटका मिला।
उनके और पत्नी के नाम पर करीब चार लाख का कर्ज था, जो बढ़ कर पांच लाख से अधिक हो गया है। पत्नी का आरोप है कि बैंक कर्मी व एजेंट रुपया जमा कराने के लिए उनपर दबाव बना रहे थे। जिसके चलते वह परेशान थे। पुलिस मामले की जांच में जुटी है।
नंद पटवा ने इंदिरानगर में ही एक किराए पर दुकान ली थी। इसी दुकान के माध्यम से वह घूम-घूमकर गैस चूल्हा, स्टोप, कूकर आदि मरम्मत का कार्य करते थे। इधर कुछ दिनों से वह काफी परेशान रहते थे। उन्होंने पत्नी माया के नाम से वर्ष 2022 में एस एस माइक्रोफाइनेंस से 20,000 रुपये ऋण लिया था।
इसी प्रकार सितंबर 2023 में बंधन बैंक से पत्नी माया के नाम से 187000 रुपये तथा मार्च 2024 में उत्कर्ष स्माल फाइनेंस बैंक लिमिटेड से 75000 रुपये तथा खुद के नाम सहित कुल चार लाख रुपये का ऋण लिया था। बैंक कर्मी व एजेंट दुकानदार के घर जाकर उसे जमा करने के लिए दबाव बना रहे थे। जिसके चलते वह परेशान रहते थे।
उनकी दो बेटी पिंकी पटवा इंटरमीडिएट, प्रतिमा हाई स्कूल और देव्यांशु पटवा आठ में पढ़ते हैं। शनिवार की रात सभी खा-पीकर कमरे में सोने चले गए। नंद पटवा रविवार की भोर में करीब चार बजे घर से निकले, लेकिन वापस नहीं लौटे। सुबह करीब साढ़े पांच बजे दुकान के बगल के बरामदे में फंदे से लटका उनका शव मिला।
मृतक की पत्नी माया ने बताया कि बैंक कर्मी व एजेंट द्वारा बार-बार तगादा करने से वह काफी परेशान थे। आर्थिक तंगी के कारण उन्होंने आत्महत्या कर ली है।
सदर कोतवाल सत्येन्द्र कुमार राय ने बताया कि नंद पटवा का शव इंदिरानगर में दुकान के बगल के बरामदे में फंदे से लटका मिला है। वह काफी कर्जे में डूबे थे। पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।
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