NCRB Report 2023: यूपी में 12 प्रतिशत बढ़ीं आत्महत्याएं, सबसे ज्यादा सुसाइड के पीछे ये है वजह
उत्तर प्रदेश में आत्महत्या के मामलों में वृद्धि देखी गई है जिसमें पारिवारिक कलह मुख्य कारण है। एनसीआरबी की रिपोर्ट के अनुसार राज्य में आत्महत्या की घटनाओं में 12 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है। लखनऊ आगरा और गाजियाबाद में स्थिति में सुधार हुआ है जबकि कानपुर वाराणसी और प्रयागराज में मामले बढ़े हैं जिससे चिंता की स्थिति उत्पन्न हो गई है।

राज्य ब्यूरो, लखनऊ। देश में आत्महत्या की कुल घटनाओं में भले ही उत्तर प्रदेश की भागीदारी 5.3 प्रतिशत है पर राज्य में खुदकुशी की घटनाओं में बढ़ोतरी चिंता बढ़ाती है। किसानों की आत्महत्याओं को लेकर राष्ट्रीय स्तर पर सवाल उठते रहे हैं। युवाओं में बढ़ता तनाव और पारिवारिक कलह से आत्महत्या की घटनाएं से हमेशा सामाजिक ताना-बाना भी कठघरे में रहा है।
राष्ट्रीय अपराध रिकार्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) की ताजा रिपोर्ट ''''भारत में अपराध-2023'''' के आंकड़े बताते हैं कि वर्ष 2022 की तुलना में 2023 में आत्महत्या की घटनाओं में 12 प्रतिशत की बढ़ोतरी दर्ज की गई। प्रदेश में पिछले वर्षाें के आंकड़ों की तुलना में लखनऊ, आगरा व गाजियाबाद में हालात सुधरे तो कानपुर, वाराणसी व प्रयागराज में आत्महत्या की घटनाएं बढ़ गईं।
रिपोर्ट के अनुसार 2023 में पूरे देश में आत्महत्या की 1,71,418 घटनाएं हुईं। इनमें उत्तर प्रदेश में 9,154 व्यक्तियों ने खुद अपनी जीवन लीला समाप्त की। जबकि वर्ष 2022 में उप्र में खुदकुशी की 8,176 घटनाएं दर्ज की गई थीं।
आत्महत्या की बात करें तो इनमें सर्वाधिक 31.9 प्रतिशत मामलों के पीछे वजह पारिवारिक कलह रही। जबकि 19 प्रतिशत मामले बीमारी से तंग आकर यह कदम उठाने के रहे। प्रदेश में वर्ष 2022 के मुकाबले 2023 में 978 अधिक घटनाएं हुईं। वर्ष 2021 में उप्र में आत्महत्या की 5,932 घटनाएं दर्ज की गई थीं। ऐसी घटनाओं में बढ़ोतरी का ग्राफ चिंता की लकीरों को भी लगातार बढ़ाता रहा है।
प्रमुख शहरों का हाल
शहर | वर्ष 2021 | वर्ष 2022 | वर्ष 2023 |
---|---|---|---|
आगरा | 99 | 289 | 147 |
गाजियाबाद | 64 | 157 | 142 |
लखनऊ | 304 | 361 | 218 |
कानपुर | 372 | 430 | 742 |
वाराणसी | 90 | 163 | 197 |
प्रयागराज | 45 | 116 | 140 |
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