तकनीकी शिक्षा में बढ़ेगी पहुंच, उत्तर प्रदेश के युवाओं के लिए खुलेंगे रोजगार के नए अवसर
उत्तर प्रदेश में तकनीकी शिक्षा का विस्तार होगा, जिससे राज्य के युवाओं के लिए नए अवसर सृजित होंगे। इस पहल का उद्देश्य युवाओं को तकनीकी कौशल प्रदान करना ...और पढ़ें

राज्य ब्यूरो, लखनऊ। प्रदेश में तकनीकी शिक्षा को बढ़ावा देने और पालिटेक्निक संस्थानों में प्रवेश बढ़ाने के लिए प्राविधिक शिक्षा विभाग ने ‘पालिटेक्निक चलो अभियान-2026’ चलाने का निर्णय लिया है। इससे अधिक से अधिक युवाओं को तकनीकी और रोजगार-उन्मुख शिक्षा से जोड़ना है, ताकि वे उद्योगों की जरूरतों के अनुरूप कौशल हासिल कर सकें।
बुधवार को प्राविधिक शिक्षा के अपर मुख्य सचिव नरेंद्र भूषण की अध्यक्षता में हुई बैठक में इस अभियान को प्रभावी ढंग से लागू करने की रणनीति पर विस्तार से चर्चा की गई।
डिप्लोमा सेक्टर में प्रवेश के लिए वर्ष 2024 में 4,12,759 अभ्यर्थियों ने आनलाइन आवेदन किया था, जिनमें से 1,15,444 छात्रों को काउंसलिंग के माध्यम से प्रवेश मिला। वहीं 2025 में आवेदन बढ़कर 4,25,993 हो गए और 1,34,628 छात्र-छात्राओं को प्रवेश दिया गया।
आवेदन और प्रवेश में वृद्धि के बावजूद निजी क्षेत्र में 75 हजार से अधिक सीटें रिक्त रह गईं। नए सत्र में प्रवेश बढ़ाने के लिए अभियान को प्रदेशभर में मजबूत तरीके से लागू करने पर जोर दिया गया। अभियान की शुरुआत संयुक्त प्रवेश परीक्षा परिषद की तैयार की गई प्रस्तुति से होगी, जिसे सभी जिलों में भेजकर व्यापक प्रचार-प्रसार कराया जाएगा।
विभाग ने तय किया कि युवाओं तक संदेश पहुंचाने के लिए डिजिटल माध्यमों, खासकर आडियो-वीडियो कंटेंट का अधिक उपयोग किया जाएगा, जिससे छात्रों में तकनीकी शिक्षा के प्रति रुचि बढ़े और आगामी सत्र में आनलाइन आवेदन संख्या में बड़ा इजाफा हो सके।
यह भी निर्णय लिया गया कि छात्रों को इंडस्ट्री-ओरिएंटेड डिप्लोमा पाठ्यक्रमों के प्रति जागरूक करने के लिए विशेष पहल की जाएंगी। बदलते औद्योगिक माहौल और बाजार की नई जरूरतों को देखते हुए विभाग जल्द ही उद्योग आधारित नए पाठ्यक्रम शुरू करेगा।
इनका उद्देश्य छात्रों को आधुनिक तकनीकी कौशल से लैस करना और उन्हें तुरंत रोजगार योग्य बनाना है। साथ ही पारंपरिक पढ़ाई के साथ प्रैक्टिकल ट्रेनिंग और इंडस्ट्री-रेडी तैयारी को प्राथमिकता दी जाएगी।
बैठक में महानिदेशक प्राविधिक शिक्षा सेल्वा कुमारी जे., विशेष सचिव विनोद कुमार, निदेशक अजीज अहमद, शोध विकास एवं प्रशिक्षण संस्थान के निदेशक एफआर खान, परिषद के सचिव संतोष कुमार और जेईई परिषद के प्रतिनिधि संजीव कुमार सिंह मौजूद रहे।

कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।