'प्रदेश के 222 प्राइवेट और 26 सरकारी अस्पतालों में हो रहा कैंसर का इलाज' ब्रजेश पाठक बोले- कफ सीरप से यूपी में नहीं हुई कोई मौत
विधान सभा में उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने कहा कि कफ सीरप अवैध नहीं है, लेकिन बिना चिकित्सीय प्रिस्क्रिप्शन इसकी बिक्री अवैध है। माफिया फर्जी ...और पढ़ें

राज्य ब्यूरो, लखनऊ। विधान सभा में विपक्ष के उठाए गए सवालों पर जवाब देते हुए उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने कहा कि कफ सीरप अवैध नहीं है, बल्कि इसकी बिक्री अवैध तरीके से बिना चिकित्सीय प्रिस्क्रिप्शन के किया जाना अवैध है। माफिया फर्जी दस्तावेज बनाकर भारी मात्रा में कफ सिरप इकट्ठा करके नशे के लिए बाजार में पहुंचाते थे।
कफ सीरप से राज्य में किसी बच्चे की मौत नहीं हुई है। उत्तर प्रदेश में इसका कोई उत्पादन नहीं होता है। भ्रामक सूचना फैलाकर पूरा मामला उलझाया गया है। कैंसर चिकित्सा पर उठे सवालों का जवाब देते हुए उन्होंने कहा कि 222 निजी और 26 सरकारी चिकित्सीय संस्थानों में इस समय कैंसर के इलाज की सुविधा है।
राज्य के सभी चिकित्सालयों में 30 वर्ष से अधिक आयु के लोगों का परीक्षण कराया जा रहा है। 65 स्थानों कैंसर डे-परीक्षण केंद्र शुरू किए जा रहे हैं।

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