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    UP News: राज्य कर विभाग के सहायक आयुक्त निलंबित, बोगस फर्म का पंजीकरण निरस्त करने में लापरवाही आरोप

    Updated: Fri, 19 Sep 2025 09:36 AM (IST)

    उत्तर प्रदेश सरकार ने सीतापुर में तैनात राज्य कर विभाग के सहायक आयुक्त संजय नाथ सरोज को निलंबित कर दिया है। उन पर बोगस फर्म पीएस ट्रेडर्स का पंजीकरण निरस्त करने में देरी का आरोप है जिससे सरकार को 3.32 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ। अखिल भारतीय ब्राह्मण महासभा ने ब्राह्मणों की हत्याओं को लेकर सरकार की आलोचना की है और चेतना रथ निकालकर एकजुट करने की चेतावनी दी है।

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    UP News: राज्य कर विभाग के सहायक आयुक्त निलंबित

    राज्य ब्यूरो, लखनऊ। प्रदेश सरकार ने सीतापुर में तैनात राज्य कर विभाग के सहायक आयुक्त संजय नाथ सरोज को निलंबित कर दिया है। उन पर सीतापुर की बोगस फर्म पीएस ट्रेडर्स का तत्काल पंजीकरण निरस्त न करने का आरोप है। 

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    विलंब से इस फर्म का पंजीकरण निरस्त होने के कारण इसने आईटीसी (इनपुट टैक्स क्रेडिट) का लाभ ले लिया। इससे प्रदेश सरकार को 3.32 करोड़ रुपये का चूना लगा है। शिकायत मिलने पर इस मामले की जांच हुई जिसमें प्रथम दृष्टया दोषी पाये जाने पर संजय नाथ सरोज को निलंबित कर दिया गया है। 

    राज्य कर विभाग के संयुक्त सचिव रघुवीर प्रसाद की ओर से जारी आदेश में कहा गया है कि सरोज निलंबन अवधि में संयुक्त आयुक्त (कार्यपालक), राज्य कर, बांदा के कार्यालय से संबद्ध रहेंगे। अब जल्द ही उन्हें चार्जशीट दी जाएगी।

    ब्राह्मणों की हत्या का प्रदेश बना उप्र: केसी पांडेय

    राज्य ब्यूरो। अखिल भारतीय ब्राह्मण महासभा ने ब्राह्मणों की हत्याओं को लेकर प्रदेश सरकार पर निशाना साधा है। महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं भाजपा नेता डा. केसी पांडेय ने कहा कि गाजीपुर में दिव्यांग भाजपा कार्यकर्ता की हत्या के बाद हमीरपुर जेल में बंदी अनिल तिवारी की पीट-पीट कर हत्या कर दी गई। 

    चुन-चुन कर ब्राह्मणों की निर्मम हत्याएं की जा रही। आरोप लगाया कि उप्र, ब्राह्मणों की हत्या का प्रदेश बन गया है। यदि ब्राह्मणों के साथ घटनाएं न रुकीं तो महासभा गांव-गांव चेतना रथ निकालकर ब्राह्मणों को एकजुट करेगी। 

    गोमती नगर कार्यालय पर महासभा, परशुराम सेना और महिला ब्राह्मण सभा के पदाधिकारियों की बैठक में उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री, गृहमंत्री, मुख्यमंत्री और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष उनकी पीड़ा सुनें, नहीं तो वर्ष 2027 में ब्राह्मण अपना अलग रास्ता अख्तियार करने को बाध्य होगा।