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UP Election 2022: पांचवें चरण में भी धनबल और बाहुबल का बोलबाला, जानिए क्या कहती है एडीआर रिपोर्ट

UP Election 2022 ADR Report उत्तर प्रदेश इलेक्शन वाच और एसोसिएशन फार डेमोक्रेटिक रिफार्म (एडीआर) ने पांचवें चरण के 61 विधानसभा क्षेत्रों में चुनाव लड़ रहे 693 में से 685 उम्मीदवारों के शपथपत्रों का विश्लेषण किया है जिसमें यह तस्वीर सामने आई है।

By Umesh TiwariEdited By: Published: Mon, 21 Feb 2022 05:46 PM (IST)Updated: Tue, 22 Feb 2022 06:58 AM (IST)
UP Election 2022: पांचवें चरण में भी धनबल और बाहुबल का बोलबाला, जानिए क्या कहती है एडीआर रिपोर्ट
यूपी विधानसभा चुनाव 2022 के पांचवें चरण की एडीआर रिपोर्ट जारी।

लखनऊ, जेएनएन। उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव 2022 में धनबल और बाहुबल का दबदबा कायम है। सभी राजनीतिक दलों ने चुनाव में अपनी जीत सुनिश्चित करने के लिए दागी छवि के उम्मीदवारों और करोड़पति प्रत्याशियों को टिकट देने में कोई गुरेज नहीं किया है। पांचवें चरण के चुनाव में भी 27 प्रतिशत उम्मीदवार दागी हैं, जिनमें 21 प्रतिशत के विरुद्ध गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं। चौथे चरण में भी 27 प्रतिशत दागी उम्मीदवार मैदान में हैं। इस बार करोड़पति प्रत्याशियों की संख्या भी सबसे अधिक है। 36 प्रतिशत करोड़पति प्रत्याशी प्रमुख दलों से चुनाव लड़ रहे हैं।

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उत्तर प्रदेश इलेक्शन वाच और एसोसिएशन फार डेमोक्रेटिक रिफार्म (एडीआर) ने पांचवें चरण के 61 विधानसभा क्षेत्रों में चुनाव लड़ रहे 693 में से 685 उम्मीदवारों के शपथपत्रों का विश्लेषण किया है, जिसमें यह तस्वीर सामने आई है। आठ उम्मीदवारों के शपथपत्र स्पष्ट न होने के कारण उन्हें शामिल नहीं किया गया। पांचवें चरण में 61 में से 39 विधानसभा क्षेत्र ऐसे हैं, जहां तीन या अधिक दागी उम्मीदवार चुनाव मैदान में हैं। कुल प्रत्याशियों में 90 महिला उम्मीदवार भी हैं।

शपथपत्रों के अध्ययन में सामने आया है कि 685 में से 185 उम्मीदवारों ने यानी 27 प्रतिशत प्रत्याशियों ने अपने ऊपर आपराधिक मामले घोषित किये हैं। इनमें 141 प्रत्याशियों (21 प्रतिशत) के विरुद्ध गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं। दागी उम्मीदवारों की सूची सपा सबसे आगे है। उत्तर प्रदेश इलेक्शन वाच के मुख्य समन्वयक डा. संजय सिंह बताते हैं कि पांचवें चरण में सपा के 59 में से 42 (71 प्रतिशत) प्रत्याशी दागी हैं। इसके अलावा अपना दल (एस) के सात में से चार (57 प्रतिशत), भाजपा के 52 में से 25 (48 प्रतिशत), बसपा के 61 में से 23 (38 प्रतिशत), कांग्रेस के 61 में से 23 (38 प्रतिशत) तथा आप के 52 में से 10 (19 प्रतिशत ) उम्मीदवारों ने अपने विरुद्ध आपराधिक मामले घोषित किये हैं।

गंभीर आपराधिक मामलों की बात की जाये तो भी सपा पहले नंबर पर है। सपा के 59 में से 29 (49 प्रतिशत), अपना दल (एस) के सात में दो (29 प्रतिशत), भाजपा के 52 में से 22 (42 प्रतिशत), बसपा के 61 में से 17 (28 प्रतिशत), कांग्रेस के 61 में से 17 (28 प्रतिशत) तथा आप के 52 में से सात (14 प्रतिशत ) उम्मीदवारों के विरुद्ध गंभीर आपराधिक मामले हैं।

धनबल की बात करें तो इस चरण में सबसे अधिक 685 में से 246 (36 प्रतिशत) उम्मीदवार करोड़पति हैं। इनमें भाजपा के सबसे अधिक 90 प्रतिशत करोड़पति उम्मीदवार मैदान में हैं। भाजपा के 52 में से 47 (90 प्रतिशत), अपना दल (एस) के साम में छह (86 प्रतिशत), सपा के 59 में से 49 (83 प्रतिशत), बसपा के 61 में से 44 (72 प्रतिशत), कांग्रेस के 61 में से 30 (49 प्रतिशत) व आप के 52 में से 11 (21 प्रतिशत) उम्मीदवार करोड़पति हैं। जिनकी घोषित संपत्ति एक करोड़ रुपये से अधिक है। उम्मीदवारों की औसतन संपत्ति 2.48 करोड़ रुपये है। 296 उम्मीदवारों ने अपनी देनदारी भी घोषित की है।

सबसे अमीर भाजपा के प्रत्याशी : सबसे अमीर प्रत्याशी अमेठी की तिलोई विधानसभा सीट से चुनाव लड़ रहे भाजपा उम्मीदवार मयंकेश्वर शरण सिंह हैं, जिन्होंने अपनी संपत्ति 58 करोड़ रुपये घोषित की है। उनके बाद प्रतापगढ़ के कुंडा सीट से भाजपा प्रत्याशी सिंधुजा मिश्रा सेनानी हैं, जिनकी संपत्ति 52 करोड़ रुपये है। तीसरे स्थान पर अमेठी विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी डा.संजय सिंह हैं जिन्होंने अपनी संपत्ति 50 करोड़ रुपये घोषित की है।

बसपा के यश भद्र पर सर्वाधिक गंभीर धाराओं में मुकदमे : घोषित आपराधिक मामलों में गंभीर धाराओं की बात करें तो सबसे आगे सुलतानपुर की इसौली सीट से बसपा प्रत्याशी यश भद्र सिंह हैं, जिनके विरुद्ध 26 गंभीर धाराओं में 21 मामले दर्ज हैं। दूसरे स्थान पर प्रयागराज की इलाहाबाद उत्तर सीट से सपा प्रत्याशी संदीप यादव हैं, जिनके विरुद्ध 24 गंभीर धाराओं में 35 मामले दर्ज हैं। तीसरे स्थान पर बहराइच की पयागपुर सीट से सपा प्रत्याशी मुकेश श्रीवास्तव के विरुद्ध 21 गंभीर धाराओं में नौ मुकदमे दर्ज हैं। 12 ऐसे उम्मीदवार भी हैं, जिनके विरुद्ध महिला अपराध के मामले हैं। इनमें एक प्रत्याशी के विरुद्ध दुष्कर्म का मुकदमा दर्ज है।

पांचवीं से 12वीं तक पढ़े हैं 231 उम्मीदवार : पांचवें चरण में 231 यानी 34 प्रतिशत उम्मीदवारों ने अपनी शैक्षिक योग्यता पांचवीं से 12वीं कक्षा के बीच घोषित की है, जबकि 407 (59 प्रतिशत) प्रत्याशी स्नातक व उससे अधिक पढ़े हैं। दो उम्मीदवार डिप्लोमा धारक हैं। 32 उम्मीदवारों ने खुद को साक्षर व छह प्रत्याशियों ने खुद को असाक्षर घोषित किया है। सात उम्मीदवारों ने अपनी शैक्षिक योग्यता घोषित नहीं की है।

248 युवा उम्मीदवार : पांचवें चरण में 248 (36 प्रतिशत) उम्मीदवार ऐसे हैं, जिनकी आयु 25 वर्ष से 40 वर्ष के मध्य है। 368 (54 प्रतिशत) उम्मीदवारों ने अपनी आयु 41 वर्ष से 60 वर्ष के मध्य घोषित की है, जबकि 69 उम्मीदवारों की आयु 61 वर्ष से 80 वर्ष के मध्य है।

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