राघवेन्द्र प्रताप सिंह का इस्तीफा राजनीतिक षडयंत्र: अपना दल (एस)
Lok Sabha Election 2024 अपना दल (एस) के राष्ट्रीय महासचिव डॉ. राघवेन्द्र प्रताप सिंह के पार्टी छोड़ने पर राजनीति गरमा गई है। उन्होंने बीते रविवार को पार्टी में सवर्णों की उपेक्षा का आरोप लगाकर प्राथमिक सदस्यता से त्यागपत्र दिया और यह पत्र इंटरनेट मीडिया पर प्रसारित किया गया। अब सोमवार को उनके इस्तीफे पर पार्टी ने आधिकारिक बयान जारी कर इसे राजनीतिक षडयंत्र बताया है।

राज्य ब्यूरो, लखनऊ। अपना दल (एस) के राष्ट्रीय महासचिव डॉ. राघवेन्द्र प्रताप सिंह के पार्टी छोड़ने पर राजनीति गरमा गई है। उन्होंने बीते रविवार को पार्टी में सवर्णों की उपेक्षा का आरोप लगाकर प्राथमिक सदस्यता से त्यागपत्र दिया और यह पत्र इंटरनेट मीडिया पर प्रसारित किया गया।
अब सोमवार को उनके इस्तीफे पर पार्टी ने आधिकारिक बयान जारी कर इसे राजनीतिक षड्यंत्र बताया है। बीते दिनों कुंडा में पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष अनुप्रिया पटेल ने राजा भैया पर निशाना साधा था और इस घटनाक्रम को उससे भी जोड़कर देखा जा रहा है।
आपत्तिजनक टिप्पणी के मामले पर दिया था इस्तीफा
डॉ. राघवेन्द्र प्रताप सिंह ने अपने इस्तीफे में आरोप लगाया है कि राबर्ट्सगंज के सांसद पकौड़ी लाल कोल ने ब्राह्मणों व क्षत्रियों को लेकर आपत्तिजनक टिप्पणी की थी। जिसका विरोध भी किया गया था लेकिन इसके बावजूद उनकी पुत्रवधू व छानबे विधानसभा सीट से पार्टी विधायक रिंकी कोल को राबर्ट्सगंज सीट से लोकसभा प्रत्याशी बनाया गया है।
ऐसे में सवर्ण समाज में इसे लेकर आक्रोश है। उधर पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता राजेश श्रीवास्तव ने कहा कि एक वर्ष पूर्व राघवेन्द्र कांग्रेस की सदस्यता ले चुके हैं। वर्ष 2022 के विधानसभा चुनाव के बाद नई कार्यकारिणी गठित की गई है और उसमें राघवेन्द्र को महासचिव भी नहीं बनाया गया है। वह चुनाव के समय विरोधियों के इशारे पर झूठा पत्र जारी कर रहे हैं।
मालूम हो कि बीते दिनों अनुप्रिया पटेल ने कुंडा में कहा था कि स्वघोषित राजाओं को लगता है कि कुंडा उनकी जागीर है। अब उनका भ्रम तोड़ने का समय आ गया है।
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