UP: कन्नौज की तिर्वा कोतवाली में पुलिस हिरासत में शिक्षक की मौत के मामले में एसआइटी जांच शुरू, पत्नी से मिलने गया था ससुराल
कन्नौज में पत्नी से ससुराल मिलने पहुंचे जालौन के शिक्षक की पुलिस हिरासत में मौत हो गई थी। शिक्षक के पिता ने बहू सहित तीन लोगों के खिलाफ रिपोर् ...और पढ़ें

लखनऊ, राज्य ब्यूरो। कन्नौज की तिर्वा कोतवाली में पुलिस हिरासत में हुई जालौन के शिक्षक की मौत के मामले में अब एसआइटी जांच शुरू हाे गई है। एसआइटी ने तत्कालीन इंस्पेक्टर सहित चार पुलिसकर्मियों के खिलाफ एफआइआर दर्ज कर ली है। सीबीसीआइडी की जांच में चारों पुलिसकर्मी पहले ही दोषी पाए गए थे।
जालौन के गिधौंसा के रहने वाले शिक्षक पर्वत सिंह 20 मार्च 2020 को तिर्वा कोतवाली के सुक्खापुर्वा गांव में ससुराल में रह रही पत्नी को बुलाने गए थे। रात को पत्नी और ससुराल वालों से उनका विवाद हो गया। पत्नी की शिकायत पर तिर्वा पुलिस ने शिक्षक को हिरासत में लेकर हवालात में बंद कर दिया था। सुबह करीब तीन बजे कोतवाली के शौचालय में उनका शव फांसी के फंदे पर लटकता मिला था।
मृतक के पिता ने बहू नीरज समेत तीन लोगों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई थी। पुलिस हिरासत में शिक्षक की मौत के बाद मामला तूल पकड़ा तो इस मामले की जांच सीबीसीआइडी को दे दी गई थी। सीबीसीआइडी ने इसी साल अप्रैल में तत्कालीन तिर्वा कोतवाली के प्रभारी त्रिभुवन कुमार, हेड मोहर्रिर राधेश्याम, पहरेदार आरक्षी अरूण कुमार और मामले की विवेचना कर रहे विवेचक तत्कालीन सदर कोतवाली प्रभारी निरीक्षक विकास राय के खिलाफ बगैर बिसरा रिपोर्ट के फाइनल रिपोर्ट लगाने पर एफआइआर दर्ज कराई थी।
आरोपी इंस्पेक्टर त्रिभुवन कुमार व आरक्षी अरूण कुमार की याचिका पर हाईकोर्ट की डबल बेंच ने राज्य सरकार को एसआइटी गठित कर जांच कराने के निर्देश दिए थे। इसी के बाद एसआइटी मुख्यालय ने चारों पुलिस कर्मियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
इंस्पेक्टर त्रिभुवन सिंह पर अवैध रूप से शिक्षक पर्वत सिंह को हिरासत में रखने, उनका मेडिकल न कराने के आरोप हैं। हेड मोहर्रिर राधेश्याम ने मृतक पर्वत के साले की शिकायत पर बिना विधिक कार्रवाई किए शिक्षक को थाने बैठाए रखा। वहीं, पहरेदार अरूण कुमार ने मृतक को शौचालय ले जाने में लापरवाही दिखाई।

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