जीवा हत्याकांड से सवालों में UP पुलिस, माफिया अतीक को भी पुलिस कस्टडी में ही मारी गई थी गोली
इससे पहले प्रयागराज में रिपोर्टर बनकर आए बदमाशों में बाहुबली अतीक अहमद व उसके भाई अशरफ की गोली मारकर हत्या कर दी गई था इससे पुलिस की नाकामी पर सवाह भी ...और पढ़ें

लखनऊ, जागरण संवाददाता। वकील के ड्रेस में आए बदमाशों ने पश्चिमी यूपी के कुख्यात अपराधी संजीव माहेश्वरी उर्फ जीवा की बुधवार को लखनऊ सिविल कोर्ट के परिसर में गोली मारकर हत्या कर दी गई। बदमाशों ने कोर्ट के गेट पर ही संजीव पर अंधाधुंध फायारिंग की। हमले में एक बच्ची व एक पुलिस के जवान को भी गोली लगी है। दोनों को सिविल अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
यूपी पुलिस पर सवालिया निशान
इससे पहले प्रयागराज में रिपोर्टर बनकर आए बदमाशों में बाहुबली अतीक अहमद व उसके भाई अशरफ की गोली मारकर हत्या कर दी गई था, इससे पुलिस की नाकामी पर सवाह भी खड़े हुए थे। अब प्रदेश की राजधानी में इतनी बड़ी वारदात के बाद पुलिस पर सवालिया निशान है।
पत्नी ने जताई थी हत्या की आशंका
जीवा पर साल 2017 में कारोबारी अमित दीक्षित उर्फ गोल्डी हत्याकांड में भी आरोप लगे थे, इसमें जांच के बाद अदालत ने जीवा समेत चार आरोपियों को उम्रकैद की सजा सुनाई थी। इसके बाद से जीवा लखनऊ की जेल में बंद था। साल 2021 में जीवा की पत्नी पायल ने चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया को पत्र लिखकर कहा था कि उनकी (जीवा) जान को खतरा है।
28 साल पहले अपराध की दुनिया में आया था जीवा
संजीव माहेश्वरी उर्फ जीवा वर्ष 1995 से संगीन घटनाओं को अंजाम देता रहा है। संजीव जीवा इंटरस्टेट गैंग का लीडर था। उसके खिलाफ हत्या, रंगदारी, लूट, डकैती, अपहरण, गैंगस्टर जैसी संगीन धाराओं में दो दर्जन मुकदमे दर्ज हैं। कोलकाता के एक व्यापारी के बेटे का अपहरण कर दो करोड़ की फिरौती मांगने से लेकर पूर्वांचल के विधायक ब्रह्मदत्त द्विवेदी और कृष्णानंद राय हत्याकांड में भी नाम आ चुका है।
लखनऊ जेल में उम्रकैद काट रहा था कुख्यात
मुजफ्फरनगर निवासी संजीव माहेश्वरी और उर्फ जीवा लखनऊ जेल में उम्रकैद काट रहा था। जीवा को 1997 में हुए भाजपा नेता ब्रहमदत्त द्विवेदी हत्याकांड में उम्रकैद हुई थी। उस पर कृष्णानंद राय हत्याकांड का भी आरोप लगा था। लेकिन इस मामले में जीवा बरी हो चुका था। जीवा पर जेल से ही गैंग संचालित करने और अपराधिक गतिविधियों को अंजाम देने का आरोप था। गत कुछ वर्षों सें संजीव जीवा पत्नी को सियासत में स्थापित कराने के प्रयास में जुटा था। जीवा की पत्नी पायल माहेश्वरी ने रालोद की सदस्यता ग्रहण कर 2017 में सदर सीट से विधानसभा चुनाव भी लड़ा था।

कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।