लखनऊ में रेल की पटरियों के किनारे से आरपीएफ ने उठाए 61 संदिग्ध
डीआरएम विजय लक्ष्मी कौशिक ने वरिष्ठ मंडल सुरक्षा आयुक्त सहरिश सिद्दीकी को मामले की पड़ताल के निर्देश दिए।
लखनऊ (जागरण संवाददाता)। पटरियों से 77 स्लीपर फिटिंग और 308 पैंड्राल क्लिप निकालकर कैफियात एक्सप्रेस को दुर्घटनाग्रस्त बनाने की साजिश के बाद रेलवे ने संयुक्त पेट्रोलिंग शुरू कर दी है। इसी के तहत रेलवे सुरक्षा बल ने बुधवार को पटरियों के आसपास संदिग्ध हालत में घूमने वाले 61 लोगों को हिरासत में लिया। उनसे पूछताछ की गई, साथ ही रेलवे एक्ट के तहत उन पर जुर्माना भी लगाया गया।
कैफियात एक्सप्रेस को हादसे का शिकार बनाने की घटना की जांच के दौरान यह बात सामने आई कि देर रात से तड़के तक बड़ी संख्या में कुछ लोग संदिग्ध हालत में पटरियों पर घूमते हैं, जो कि पेट्रोलिंग करने वाले ट्रैकमैन को देखते ही वहां से निकल जाते हैं।
डीआरएम विजय लक्ष्मी कौशिक ने वरिष्ठ मंडल सुरक्षा आयुक्त सहरिश सिद्दीकी को मामले की पड़ताल के निर्देश दिए। सहरिश सिद्दीकी ने डालीगंज से बादशाह नगर तक लाइन किनारे बसी कॉलोनियों में लोगों से इस बारे में कई इनपुट जुटाए।
उनको लोगों ने बताया कि देर रात संदिग्ध हालत में लोग दिखते हैं। वह पटरी किनारे शराब तक पीते हैं। इस पर सहरिश सिद्दीकी ने लोगों को पटरी किनारे संदिग्ध गतिविधियों की जानकारी देने के लिए आरपीएफ के जिम्मेदार प्रभारियों के मोबाइल फोन नंबर भी दिए। सादे कपड़ों में आरपीएफ सिटी प्रभारी अमरनाथ सहित कई जवानों ने जब मंगलवार देर रात एक बजे से बुधवार सुबह चार बजे तक पेट्रोलिंग की तो पटरी पर घूमते हुए 61 संदिग्ध बादशाह नगर से डालीगंज के बीच मिले।
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सबको हिरासत में लेकर सिटी स्टेशन पर पूछताछ की गई। हालांकि किसी ने भी पटरियों से 77 स्लीपर फिटिंग और 308 पैंड्राल क्लिप निकालने की घटना में शामिल होने की बात नहीं कबूली। फिलहाल आरपीएफ ने रेलवे एक्ट की धारा 145 और 147 के तहत जुर्माना लगाया है।
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