अब उत्तर प्रदेश में होमगार्डों का दैनिक भत्ता 375 रुपये
पुलिस के साथ कंधे से कंधा मिलाकर आठ घंटे मुस्तैदी से ड्यूटी करने वाले प्रदेश के होमगार्डों का दैनिक भत्ता अब 300 रुपये से बढ़ाकर 375 रुपये कर दिया गया है।
लखनऊ (जेएनएन)। पुलिस के साथ कंधे से कंधा मिलाकर आठ घंटे मुस्तैदी से ड्यूटी करने वाले प्रदेश के होमगार्डों का दैनिक भत्ता अब 300 रुपये से बढ़ाकर 375 रुपये कर दिया गया है। इसकी घोषणा अवधेश प्रसाद मंत्री होमगार्ड एवं प्रांतीय रक्षक उत्तर प्रदेश ने होमगार्ड मुख्यालय के सभागार में की। उन्होंने यहां 11 भवनों का लोकार्पण करने के साथ ही सात भवनों का शिलान्यास भी किया।
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इस मौके पर अवधेश प्रसाद ने कहा कि बसपा सरकार में होमगाड्र्स की दैनिक दिहाड़ी 120 रुपये से 160 रुपये हुई थी, लेकिन मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के शासनकाल में 375 तक पहुंच गई। गैर जिलों में चुनाव या ड्यूटी के दौरान उन्हें 30 रुपये अतिरिक्त दिया जाता है। डीजी होमगार्ड वीके गुप्ता ने कहा कि 1963 में स्थापना के वक्त होमगार्ड को एक रुपया दैनिक भत्ता और 50 पैसे प्रशिक्षण भत्ता मिलता था। अब विभाग का बजट भी 800 करोड़ रुपये सालाना का हो गया है। डीजी ने मंत्री से विभागीय कर्मियों के लिए आवास बनवाने की मांग की। डीजी ने बताया कि आठ जिलों में कार्यालय और भवनों के निर्माण की शासन द्वारा संस्तुति हो गई है। अब प्रदेश के 75 जिलों में से 48 जिलों में कार्यालय और भवन हो जाएंगे। हाल में ही महोबा, कासगंज, चित्रकूट, चंदौली, मीरजापुर, शाहजहांपुर और मंडलीय प्रशिक्षण केंद्र मेरठ आदि भवनों का 16 करोड़ रुपये की लागत से निर्माण कराया गया है। इस पर मंत्री ने उनसे प्रस्ताव मांगा और कहा कि वह शासन स्तर पर प्रस्ताव पास कराने का हर संभव प्रयास करेंगे। इस दौरान विशेष सचिव होमगार्ड गीता मिश्रा, एडीजी होमगार्ड डीएल रत्नम, डिप्टी कमांडेंट जनरल होमगार्ड शरत चंद्र त्रिपाठी केंद्रीय प्रशिक्षण संस्थान के कमांडेंट संजीव शुक्ला व अन्य अधिकारी और कर्मचारी मौजूद रहे। इस मौके पर होमगाड्र्स की चार प्लाटून ने बैंड और पाइप पर देश भक्ति की धुनों में मंत्री अवधेश प्रसाद को सलामी दी। मंत्री ने बैंड और पाइप टीम को 11 हजार रुपये का इनाम दिया।
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न्यायालय के आदेशों का सम्मान
भले ही दो दिन पहले होमगार्ड स्थापना दिवस के दौरान डीजी होमगार्ड ने कहा था कि होमगार्ड एक स्वयंसेवी संस्था है। इन्हें पुलिस बराबर वेतन मिलने का कोई प्रावधान नहीं है। इन्हें स्थाई नहीं किया जा सकता। गत दिनों इलाहाबाद हाईकोर्ट की डबल बेंच ने होमगार्ड को पुलिस के समान न्यूनतम वेतन लागू करने के दिए गए आदेश के बारे में जब मंत्री अवधेश से उनकी और सरकार की मंशा के बारे में पूछा गया। इस पर मंत्री ने कहा कि मैं और मेरी सरकार संविधान, न्यायालय के आदेशों का सम्मान करते हैं। हम न्यायालय के किसी भी आदेश की अवहेलना नहीं करेंगे।
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मुख्यमंत्री की बुआ हैं तो हम भी बहन मानते हैं
कार्यक्रम के दौरान मंत्री अवधेश प्रसाद ने कहा कि समाजवादी सरकार हमेशा होमगार्ड और पुलिस की ईमानदारी-कर्तव्य निष्ठा पूर्ण कार्यशैली के कारण समय समय पर प्रोत्साहित करने के लिए उनके वेतन और भत्तों में बढ़ोतरी करती आयी है। जबकि, पूर्व की बसपा सरकार में उन्हें इतना लाभ नहीं मिला। उन्होंने चुटकी लेते हुए कहा कि यह बात अलग है कि हमारे मुख्यमंत्री, मायावती को बुआ कहते हैं तो हम भी उन्हें बहन मानते हैं।