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    UP: 20 रुपये की पहचान से तय होगी ‘निपुणता’, सिर्फ किताबों तक सीमित नहीं रहेगी समझ

    By Vivek Rao Edited By: Dharmendra Pandey
    Updated: Thu, 18 Dec 2025 04:14 PM (IST)

    Nipun Bharat Mission: कक्षा एक में 20 रुपये तक और कक्षा दो में 100 रुपये तक के नोट व सिक्कों की पहचान और उनके जरिये सरल लेनदेन कर पाना निपुणता का मानक ...और पढ़ें

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    निपुण भारत मिशन

    राज्य ब्यूरो, जागरण, लखनऊ: अब परिषदीय स्कूलों में बच्चों की गणित और भाषा की समझ सिर्फ किताबों तक सीमित नहीं रहेगी। अगर कक्षा एक का बच्चा 20 रुपये तक के नोट और सिक्के पहचान लेता है, तो उसे गणित में ‘निपुण’ माना जाएगा। निपुण भारत मिशन के तहत शिक्षा को रोजमर्रा के जीवन से जोड़ने की यह नई पहल बच्चों की सीख को सरल, रोचक और व्यावहारिक बनाने पर केंद्रित है।

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    मिशन के अनुसार बाल वाटिका से लेकर कक्षा दो तक बच्चों की बुनियादी भाषायी और गणितीय दक्षताओं का आकलन किया जा रहा है। कक्षा एक में 20 रुपये तक और कक्षा दो में 100 रुपये तक के नोट व सिक्कों की पहचान और उनके जरिये सरल लेनदेन कर पाना निपुणता का मानक तय किया गया है। शिक्षकों का कहना है कि इससे बच्चों को गिनती, जोड़-घटाव और भाषा को वास्तविक जीवन से जोड़कर समझने में मदद मिल रही है।

    पिछले वर्ष अक्टूबर से दिसंबर के बीच हुए स्पाट आकलन के विश्लेषण में सामने आया कि प्रदेश के 80 प्रतिशत छात्र-छात्राएं औसत स्तर पर निपुण हैं। ऐसे विद्यालयों की संख्या 21,125 है। वहीं 33 प्रतिशत से कम निपुण छात्रों वाले विद्यालयों की संख्या 21,087 रही। हालांकि अब तक प्रदेश में 48 हजार से अधिक विद्यालयों को निपुण घोषित किया जा चुका है। विद्यालयों को निपुण बनाने के लिए राष्ट्रीय शिक्षा नीति और नेशनल करिकुलम फ्रेमवर्क के अनुरूप शिक्षा मंत्रालय ने निपुण लक्ष्यों को संशोधित किया है।

    इसके तहत बच्चों के पठन, समझ और लेखन पर विशेष ध्यान दिया गया है। शिक्षकों के लिए शिक्षक डायरी भी तैयार की गई है, जिससे बच्चों की प्रगति पर नियमित नजर रखी जा सके। लक्ष्य के अनुसार बाल वाटिका में बच्चा दो-तीन अक्षरों वाले शब्द पढ़ सके, अपना नाम पहचान और लिख सके और नौ तक की संख्याएं जानता हो।

    कक्षा एक में बच्चा छोटे वाक्य पढ़-लिख सके, 20 तक गिनती, जोड़-घटाव और 20 रुपये तक की पहचान करे। कक्षा दो में बच्चा छह से आठ वाक्यों का पाठ पढ़कर समझे, चार-पांच वाक्य लिखे और 99 तक जोड़-घटाव के साथ 100 रुपये तक का लेनदेन कर सके। निपुण भारत मिशन रटने की बजाय समझकर सीखने और मजबूत शैक्षिक नींव तैयार करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है।