उत्तर प्रदेश में अब टाइगर के साथ-साथ गैंडे भी बढ़ाएंगे पर्यटन, सरकार ने लिया बड़ा फैसला
उत्तर प्रदेश में वन्य जीव पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए दुधवा राष्ट्रीय उद्यान में गैंडों का प्रचार किया जाएगा। ईको पर्यटन विकास बोर्ड हवाई अड्डों और रेलवे स्टेशनों पर गैंडों की फोटो और वीडियो का उपयोग करेगा। 1984 में शुरू हुई गैंडा परियोजना के तहत गैंडों की संख्या पांच से बढ़कर 51 हो गई है। पर्यटकों को गैंडों का समूह आकर्षित करेगा।

राज्य ब्यूरो, लखनऊ। उत्तर प्रदेश में अब वन्य जीव पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए टाइगर के साथ-साथ गैंडों का भी इस्तेमाल किया जाएगा।
इसके लिए ईको पर्यटन विकास बोर्ड ने हवाई व बस अड्डों से लेकर रेलवे स्टेशनों तक पर दुधवा राष्ट्रीय उद्यान के प्रचार की सामग्री में बंगाल टाइगर के साथ गैंडों की फोटो व वीडियो का भी इस्तेमाल का निर्णय लिया है। दुघवा में एक सींग वाले गैंडे पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र बन रहे हैं।
सोमवार को गैंडा (रायनो) दिवस के मद्देनजर ईको-पर्यटन बोर्ड ने गैंडों की फोटोग्राफी कराई है। राज्य में वन्य जीव पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए वर्ष 1984 में गैंडा परियोजना पर काम शुरू किया गया था। परियोजना के तहत असम के काजीरंगा राष्ट्रीय उद्यान से पांच गैंडे लाकर दुधवा राष्ट्रीय उद्यान में छोड़े गए थे।
41 वर्षों में इनके कुनबें में गैंडों की संख्या पांच से बढ़कर 51 हो गई है। इसलिए अब दुधवा उद्यान आने वाले पर्यटकों को टाइगर दिखे या न दिखे, लेकिन मस्ती करते हुए गैंडों का समूह जरूर दिखाई देता है। सबसे खास बात यह है कि यहां पर सभी गैंडे एक सींग वाले हैं।
पर्यटन बोर्ड शारदा बैराज और चंदन चौकी को वेलनेस और पर्यटकों के विश्राम स्थल के रूप में विकसित करने की तैयारी कर रहा है। यहां पर्यटकों के लिए रिसार्ट, वेलनेस सेंटर और अन्य पर्यटन गतिविधियां शुरू होंगी।
दुधवा में तैनात किए गए नेचर गाइडों को पर्यटन बोर्ड ने गैंडों की कहानी व इतिहास के बारे में प्रशिक्षण दिया है। इसके चलते नवंबर से शुरू होने वाले पर्यटन सत्र में यह गाइड पर्यटकों को गैंडों की कहानी सुनाएंगे।
पर्यटन मंत्री जयवीर सिंह ने बताया कि राज्य में वन्य जीव पर्यटन को भी बढ़ावा दिया जा रहा है। पर्यटन निदेशक प्रखर मिश्रा ने बताया कि हमारी कोशिश है कि टाइगर के साथ-साथ गैंडों का भी प्रचार कर पर्यटकों को आकर्षित किया जाए।
वहीं दुधवा टाइगर रिजर्व के फील्ड निदेशक डा. एचएस राजा मोहन ने बताया कि नए पर्यटन सत्र में 10 गैंडों को स्वच्छंद भ्रमण के लिए छोड़ा जाएगा। अभी चार को ही स्वच्छंद भ्रमण के लिए छोड़ा गया है।
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