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    पश्चिम के कई गिरोह लखनऊ में बनाए हैं ऑक्सीटोसिन के अवैध कारोबार का ठिकाना, यहीं कर रहे सप्लाई 

    Updated: Tue, 11 Nov 2025 07:46 AM (IST)

    लखनऊ एसटीएफ ने उजरियांव गांव में छापेमारी कर ऑक्सीटोसिन के अवैध कारोबार करने वाले दो तस्करों को गिरफ्तार किया है। जांच में पता चला कि पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई गिरोहों ने लखनऊ में ठिकाना बना रखा है और बिहार से ऑक्सीटोसिन पाउडर मंगाकर इंजेक्शन बेचते हैं। ऑक्सीटोसिन का प्रयोग फल और सब्जियों को जल्दी विकसित करने के लिए किया जाता है, जो मानव जीवन के लिए खतरनाक है।

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    जागरण संवाददाता, लखनऊ। एसटीएफ ने रविवार को उजरियांव गांव में छापेमारी कर आक्सीटोसिन का अवैध कारोबार करने वाले दो तस्करों को दबोचा था, जबकि गिरोह का एक सदस्य नौशाद फरार है। उसकी तलाश की जा रही है।

    जांच में सामने आया कि पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई गिरोह लखनऊ में ठिकाना बनाए हैं। ज्यादातर मुस्लिम बस्तियों में ठिकाना है। वहीं से अवैध कारोबार कर रहे हैं। इस गिरोह का नेटवर्क मेरठ, बागपत से लेकर लखनऊ तक फैला है। बिहार से गिरोह के सदस्य आक्सीटोसिन के पाउडर मंगाकर इंजेक्शन बनाकर बेचते हैं। एसटीएफ की टीम गिरोह के अन्य सदस्यों के बारे में जानकारी जुटा रही है।

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    एसटीएफ के डिप्टी एसपी दीपक कुमार सिंह के मुताबिक, रविवार को टीम ने गोमतीनगर इलाके के उजरियांव गांव में छापेमारी की। इस दौरान दो तस्कर दबोचे गए। पकड़े गए आरोपितों में बागपत बड़ौत के मलकपुर का रहने वाला कयूम अली और उसका साथी मदेयगंज कदम रसूल का मो. इब्राहिम शामिल है।

    पूछताछ में आरोपितों ने तीसरे साथी नौशाद के बारे में जानकारी दी। नौशाद लक्ष्मी गार्डन मदीना मस्जिद इंदिरापुरी थाना लोनी जनपद गाजियाबाद का रहने वाला है। उसकी तलाश में एसटीएफ की टीम संभावित ठिकानों पर दबिश देर रही है।

    आरोपितों ने पूछताछ में बताया कि इसका कोई लाइसेंस उन लोगों ने नहीं लिया था। इसे बिना बिल बाउचर के खरीदते और बेचते हैं। कहा कि आक्सीटोसिन का प्रयोग पशुओं व आमजन के प्रयोग में आने वाली सब्जियों और फलों पर किया जाता है।

    ताकि समय से पहले सब्जियों और फलों को विकसित कर मार्केट में बेचा जा सके। इसकी फल व सब्जी उत्पादकों के बीच काफी मांग है। हमें पता है कि इसका प्रयोग करने से मानवजीवन पर खतरा है, पर रुपये के लालच में हम ऐसा करते हैं।

    कयूम ने बताया कि इस काम में इब्राहिम और नौशाद सहयोगी हैं। तीनों मिलकर आक्सीटोसिन पाउडर, पैकिंग की बोतल, ढक्कन गाजियाबाद से लाते हैं। नौशाद सप्लाई का काम देखते हैं।