फुलकोर्ट रेफरेंस में याद किया जाएगा हाईकोर्ट का गौरवशाली अतीत
न्यायिक गौरव के प्रतीक इलाहाबाद उच्च न्यायालय की स्थापना डेढ़ सौ साल पहले 17 मार्च, 1866 को हुई थी। इसी दिन इंग्लैंड की महारानी विक्टोरिया ने लेटर्स आफ पेटेंट जारी किया था और आगरा में न्यायालय शुरू किया गया था।
लखनऊ। देश में न्यायिक गौरव के प्रतीक इलाहाबाद उच्च न्यायालय की स्थापना अब से डेढ़ सौ साल पहले 17 मार्च, 1866 को हुई थी। इसी दिन इंग्लैंड की महारानी विक्टोरिया ने लेटर्स आफ पेटेंट जारी किया था और आगरा में न्यायालय शुरू किया गया था। हाईकोर्ट इस दिन को यादगार बनाने के लिए गुरुवार को मुख्य न्यायाधीश कक्ष में फुल कोर्ट रेफरेंस करेगा।
डेढ़ सौवें साल पर समारोह का सिलसिला हाईकोर्ट में चार दिन पहले से आयोजित है और राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी इसका उद्घाटन कर चुके हैं लेकिन यह सिलसिला साल भर तक चलेगा। हाईकोर्ट के महानिबंधक इसके सिंह ने बताया कि प्रारंभिक चरण के स्थापना सप्ताह के क्रम में समारोह चार दिन पहले प्रारंभ किया गया। गुरुवार को स्थापना दिवस पर मुख्य न्यायमूर्ति डॉ. डीवाई चंद्रचूड की अध्यक्षता में फुल कोर्ट रेफरेंस होगा। इसमें 1866 से अब तक के गौरवशाली अतीत को याद किया जाएगा। दस बजे आयोजित इस कार्यक्रम में इसमें सभी न्यायमूर्ति और अधिवक्ता भाग लेंगे। इसके साथ ही गुरुवार को एक वृहद चिकित्सा शिविर भी लगाया जाएगा जो कि 19 मार्च तक चलेगा। मुख्य चिकित्साधिकारी डा. पद्माकर सिंह ने बताया कि इसमें अल्ट्रासाउंड, एक्सरे, ईसीजी के साथ ही अन्य रोगों का परीक्षण व उपचार किया जाएगा।
रक्तदान से बड़ा कोई दान नहीं
समारोह के क्रम में हाईकोर्ट में रक्तदान शिविर लगाया गया। इसमें 86 लोगों ने रक्तदान किया जिसमें इलाहाबाद विश्वविद्यालय के एएनझा छात्रावास के अंत:वासी भी शामिल थे। शिविर का उद्घाटन करते हुए न्यायमूर्ति तरुण अग्र्रवाल ने कहा कि रक्तदान से बड़ा कोई दान नहीं है। इससे किसी के जीवन की रक्षा होती है। न्यायमूर्ति विनोद कुमार मिश्र ने कहा कि हर स्वस्थ व्यक्ति को रक्तदान करना चाहिए। पुलिस दस प्रशिक्षु जवानों ने भी रक्तदान किया।
न्यायमूर्ति राकेश तिवारी को विदाई
इलाहाबाद हाईकोर्ट की फुलकोर्ट रिफरेंस में वरिष्ठ न्यायमूर्ति राकेश तिवारी को विदाई दी गई। मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड अध्यक्षता में आयोजित समारोह में सभी न्यायमूर्ति, न्यायिक अधिकारी व अधिवक्ता मौजूद थे। इस अवसर पर महाधिवक्ता विजय बहादुर सिंह, बार एसोसिएशन के अध्यक्ष आरके ओझा, भारत सरकार कर अपर सालीसिटर जनरल अशोक मेहता ने अपने विचार रखे। उल्लेखनीय है न्यायमूर्ति तिवारी का कोलकाता हाईकोर्ट में तबादला किया गया है। वे शीघ्र की वहां कार्यभार ग्र्रहण करेंगे।
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