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    UP Bike Bot Scam में EOW की बड़ी कार्रवाई, पांच स्थानों पर छापेमारी में 178 बाइकें बरामद

    By Umesh TiwariEdited By:
    Updated: Tue, 09 Jun 2020 07:22 AM (IST)

    UP Bike Bot Scam बाइक बोट घोटाले में ईओडब्ल्यू मेरठ सेक्टर की टीम ने पांच स्थानों पर छापेमारी है। यह कार्रवाई मेरठ मुजफ्फरनगर बागपत हापुड़ और गाजियाबाद में की गई है।

    UP Bike Bot Scam में EOW की बड़ी कार्रवाई, पांच स्थानों पर छापेमारी में 178 बाइकें बरामद

    लखनऊ, जेएनएन। बाइक बोट घोटाले में आर्थिक अपराध शाखा (ईओडब्ल्यू) मेरठ सेक्टर की टीमों ने सोमवार को पांच स्थानों पर छापेमारी है। ईओडब्ल्यू की टीमों ने यह कार्रवाई मेरठ, मुजफ्फरनगर, बागपत, हापुड़ और गाजियाबाद में की है। इस दौरान करीब 178 बाइक की बरामद कई गई हैं। गौतमबुद्धनगर में निवेशकों के करोड़ों रुपये ठगने वाली गर्वित इनोवेटिव प्रमोटर्स कंपनी के खिलाफ दर्ज 57 मुकदमों की जांच ईओडब्ल्यू को सौपी गई थी। बरामद कई गईं ये सभी बाइकें गर्वित इनोवेटिव प्रमोटर्स कंपनी के नाम पर रजिस्टर्ड हैं। 1500 करोड़ रुपये से अधिक के इस बाइक बोट घोटाले की जांच अब सीबीआइ के पास जाने के कई अन्य चेहरे बेनकाब होंगे। 

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    आर्थिक अपराध शाखा (ईओडब्ल्यू) मेरठ के एसपी राम सुरेश यादव ने बताया कि पांच इंस्पेक्टरों अपनी-अपनी टीमों के साथ इस कार्रवाई को अंजाम दिया। पड़ताल में यह सामने आया है कि बाइक बोट कंपनी के नाम पर अब तक लोगों से करोड़ों की ठगी की चुकी है। इस मामले में उत्तर प्रदेश के विभिन्न जिलों में केस दर्ज हुए हैं, इनमें सबसे ज्यादा गौतमबुद्ध नगर के मामले हैं। सोमवार को छापे की कार्रवाई में गर्वित इनोवेटिव प्रमोटर्स कंपनी के नाम पर रजिस्टर बाइक बरामद की गईं। मुजफ्फरनगर से 50, गाजियाबाद से 72, हापुड़ से 22, मेरठ से 21 और बागपत से कुल 13 बाइकें बरामद की गई हैं।

    बता दें कि इस पूरे घपले का मास्टरमाइंड नोएडा का रहने वाला सुंदर भाटी नाम का शख्स है। मास्टरमाइंड सुंदर भाटी समेत 19 लोगों ने मिलकर लोगों के साथ यह घपलेबाजी की है। वर्ष 1998 में काशीपुर से कैमिकल इंजीनियरिंग में डिप्लोमा कर चुके संजय ने जनवरी 2010 में गर्वित इनोवेटिव प्रमोटर्स लिमिटेड कंपनी खोली थी। वर्ष 2017 में बाइक बोट के नाम से स्कीम शुरू की। इसमें एक बाइक पर 62100 रुपये निवेश करने पर एक साल में 1 लाख 17 हजार 180 रुपये मासिक किस्तों में लौटाए जाने की योजना थी।

    बाइक बोट स्कीम लॉन्च होने के कुछ ही दिनों में यूपी के अलग-अलग जिलों से होती हुई राजस्थान, गुड़गांव, रोहतक, पानीपत, पंजाब, मध्य प्रदेश, इंदौर, महाराष्ट्र और उत्तराखंड तक फैल गई। इस कंपनी में 2 लाख 25 हजार से अधिक निवेशक फंसे हुए हैं। अब तक 1500 करोड़ रुपये से अधिक का फ्राड सामने आ चुका है। यमुना अथॉरिटी एरिया के 126 करोड़ रुपये के जमीन खरीद घोटाले के बाद नोएडा जिले का यह दूसरा सबसे बड़ा मामला है, जिसे सीबीआई ने अपने हाथ में ले रही है।