बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे को बीडा से जोड़ने के लिए बनेगा लिंक एक्सप्रेसवे, इस जिले तक होगा विस्तार
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुंदेलखंड औद्योगिक विकास प्राधिकरण (बीडा) के कार्यों की समीक्षा की। उन्होंने बीडा क्षेत्र में एयरपोर्ट, रेलवे स्टेशन और मल्टीमॉडल लॉजिस्टिक्स पार्क (एमएमएलपी) के निर्माण के निर्देश दिए। आगरा-ग्वालियर ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे को झांसी तक बढ़ाया जाएगा। बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे को बीडा से जोड़ने के लिए लिंक एक्सप्रेसवे बनेगा। बीडा को ईज ऑफ डूइंग बिजनेस का मॉडल बनाया जाएगा।

राज्य ब्यूरो, लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने नवगठित बुंदेलखंड औद्योगिक विकास प्राधिकरण (बीडा) क्षेत्र में एयरपोर्ट व रेलवे स्टेशन के निर्माण के निर्देश दिए हैं। उन्होंने बेहतर कनेक्टिविटी के लिए आगरा-ग्वालियर ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे का झांसी तक विस्तार करने को कहा है।
उन्होंने दिल्ली-नागपुर औद्योगिक कारीडोर का एक नोड बीडा में विकसित करने की जरूरत बताई है और कहा है कि बीडा क्षेत्र में एक मल्टीमाडल लाजिस्टिक्स पार्क (एमएमएलपी) का निर्माण किया जाए।
साथ ही, कहा है कि उत्तर प्रदेश एक्सप्रेजवेज औद्योगिक विकास प्राधिकरण (यूपीडा) बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे को बीडा से जोड़ने के लिए लिंक एक्सप्रेसवे के निर्माण के लिए एलाइनमेंट की प्रक्रिया तेजी से पूरी करे।
अपने सरकारी आवास पर बुधवार को मुख्यमंत्री ने बीडा के विकास कार्यों की समीक्षा करते हुए कहा कि बुंदेलखंड अब पिछड़ेपन की परिभाषा नहीं, बल्कि प्रगति के प्रतीक के रूप में उभरेगा। बीडा की सफलता से न केवल झांसी, बल्कि पूरे क्षेत्र में औद्योगिक क्रांति का मार्ग प्रशस्त होगा।
उन्होंने कहा कि अगले छह माह में भूमि अधिग्रहण की सारी कार्यवाही पूरी कर ली जाए। इसके लिए एक सप्ताह के भीतर रजिस्ट्री व राजस्व से जुड़े अतिरिक्त कार्मिकों की तैनाती की जाए। उन्होंने अपर मुख्य सचिव औद्योगिक विकास और सीईओ बीडा को यह निर्देश दिए कि अगले 15 दिनों के भीतर बीडा में योग्य सिविल और इलेक्ट्रिकल इंजीनियर, टाउन प्लानर और आर्किटेक्ट की तैनाती कर दी जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि बीडा को ईज आफ डूइंग बिजनेस (कारोबार में सुगमता) और रोजगार सृजन का माडल बनाया जाए।
बैठक में अधिकारियों ने बताया कि बीडा के गठन के लिए कुल 56,662 एकड़ क्षेत्रफल अनुमोदित किया गया है, जिसमें से अब तक 22,028 एकड़ भूमि का अधिग्रहण किया जा चुका है। इस प्रक्रिया को पारदर्शी बनाने के लिए एक विशेष साफ्टवेयर विकसित किया गया है। इसकी मदद से किसानों की सहमति लेकर भुगतान तक की संपूर्ण प्रक्रिया डिजिटल रूप में संपादित की जा रही है।
किसानों की सुविधा के लिए बीडा कार्यालय में अगले माह काल सेंटर की स्थापना की जाएगी। योगी ने आंतरिक सड़कों, सीवेज नेटवर्क, जल निकासी, वर्षा के जल का प्रबंधन, ठोस अपशिष्ट निस्तारण और बिजली आपूर्ति से संबंधित कार्यों में तेजी लाने के निर्देश दिए।
मास्टर प्लान को मिल चुकी है मंजूरी
बीडा क्षेत्र के लिए मास्टर प्लान-2045 को बोर्ड की संस्तुति मिल चुकी है। इस योजना के अंतर्गत 35.8 प्रतिशत औद्योगिक, 15.2 प्रतिशत आवासीय, 5.1 प्रतिशत मिश्रित उपयोग, 1.5 प्रतिशत वाणिज्यिक तथा 10.6 प्रतिशत हरित क्षेत्र को विकसित किया जाएगा। इसके लिए 253.33 वर्ग किलोमीटर भूमि उपयोग का विन्यास निर्धारित किया गया है। बीडा में आठ सेक्टरों को विकसित किया जाएगा।

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