Chhangur: अभी नहीं रुकेगा बुलडोजर, इन सभी के घर भी टूटेंगे; 15 सालों से चल रहा था अवैध मतांतरण का खेल
लखनऊ में हिंदू और गैर-मुस्लिम युवतियों को जाल में फंसाकर मतांतरण कराने वाले गिरोह का पर्दाफाश हुआ है। बलरामपुर में सरगना जलालुद्दीन के ठिकाने पर युवतियां लाई जाती थीं। गिरोह की संपत्तियां जब्त होंगी। एटीएस ने जलालुद्दीन और नीतू को रिमांड पर लिया है। ईडी ने गिरोह के 40 खातों में 106 करोड़ रुपये का लेनदेन पाया है जो खाड़ी देशों से आए थे।

राज्य ब्यूरो, लखनऊ। हिंदू व गैर मुस्लिम युवतियों को अपने जाल में फंसाकर उनका अवैध मतांतरण कराने का खेल पिछले 15 वर्षाें से चल रहा था। बलरामपुर में मास्टरमाइंड जलालुद्दीन उर्फ छांगुर के ठिकाने पर दूसरे राज्यों से भी युवतियों को बहला-फुसलाकर लाया जाता था। इस कृत्य में शामिल रहे गिरोह के अन्य सदस्यों की संपत्तियां भी चिन्हित किया जा रहा है, जिन पर बुलडोजर चलेगा।
एडीजी कानून-व्यवस्था अमिताभ यश के अनुसार गिरोह द्वारा विदेशी फंडिंग की रकम से व अवैध ढंग से जुटाई गईंं अन्य संपत्तियां काे भी चिन्हित कराया जा रहा है। गैंगस्टर एक्ट के तहत उन्हें भी जब्त व ध्वस्त कराया जाएगा। गिरोह बलरामपुर में 15 वर्षाें से अवैध मतांतरण का सिंडीकेट संचालित कर रहा था।
गिरोह ने अब तक कितने लोगों का अवैध मतांतरण कराया गया, इसकी जानकारी जुटाई जा रही है। आतंकवाद निरोधक दस्ता (एटीएस) ने मास्टरमाइंड जलालुद्दीन उर्फ छांगुर व उसकी करीबी नीतू उर्फ नसरीन को सात दिनों की पुलिस रिमांड पर लेकर नए सिरे से पूछताछ शुरू की है।
अवैध संपत्तियों को लेकर भी छानबीन तेज
विदेशी फंडिंग की रकम व गिरोह की अवैध संपत्तियों को लेकर भी छानबीन तेज की गई है। सूत्रों का कहना है कि रिमांड के पहले दिन छांगुर व नीतू से अलग-अलग पूछताछ की गई। नीतू से उसकी व उसके पति नवीन रोहरा उर्फ जमालुद्दीन की दुबई यात्राओं को लेकर भी सवाल-जवाब किए गए हैं।
सूत्रों का कहना है कि छानबीन में सामने आया है कि नीतू के पिता दुबई में रहकर कबाड़ का कारोबार करते हैं। नीतू व नवीन की छांगुर से पहली मुलाकात मुंबई में हुई थी। सिंडीकेट में उनकी भूमिका व दुबई से की जा रही फंडिंग को लेकर और गहनता से छानबीन की जा रही है।
छांगुर ने अपनी संस्थाओं के नाम आठ बैंक खाते खोले थे, जिनमें हुए लेनदेन को लेकर उससे पूछताछ की गई है। छांगुर व नीतू का को जल्द आमना-सामना भी कराया जाएगा। केंद्रीय जांच एजेंसियों के अधिकारी भी दोनों से पूछताछ करेंगे। गिरोह के अन्य सदस्यों की भी तलाश की जा रही है।
एफआइआर में नामजद अन्य पांच आरोपितों के विरुद्ध भी साक्ष्य संकलन कराया जा रहा है। छांगुर गिरोह के कुछ सदस्यों के माफिया मुख्तार अंसारी (अब मृत) से भी रिश्ते होने की बात सामने आई है। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि ऐसे कई तथ्य छानबीन के दायरे में हैं।
ईडी ने भी मामले में अपनी जांच के कदम बढ़ाए हैं। ईडी ने विभिन्न बैंकों से उन खातों का ब्योरा मांगा है, जिनका जिक्र एटीएस की एफआइआर में है।
ईडी की जांंच में छांगुर गिरोह के 40 खातों में अब तक विदेश से 106 करोड़ रुपये भेजे जाने का तथ्य सामने आया है। इनमें अधिकांश रकम खाड़ी देशों से भेजी गई है। ईडी ने एसपी बलरामपुर को पत्र लिखकर छांगुर गिरोह के विरुद्ध दर्ज मुकदमों, बैंक खातों व संपत्तियों का ब्योरा मांगा है। डीएम बलरामपुर से छांगुर गिरोह से जुड़ी सूचनाएं मांगी गई हैं। ईडी ने मामले में दो दिन पूर्व प्रिवेंशन आफ मनी लांड्रिंग एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज कर अपनी जांच शुरू की थी।
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