Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    Budget 2025: केंद्रीय बजट से उत्तर प्रदेश को चार लाख करोड़ रुपये मिलने का अनुमान, विकास को मिलेगी रफ्तार

    Updated: Sun, 02 Feb 2025 03:01 AM (IST)

    उत्तर प्रदेश को अगले वित्तीय वर्ष में केंद्रीय बजट से लगभग चार लाख करोड़ रुपये मिलने का अनुमान है जो राज्य के विकास और आर्थिक प्रगति के लिए एक महत्वपूर्ण योगदान होगा। यह राशि केंद्रीय करों में राज्य की हिस्सेदारी में वृद्धि और केंद्र सरकार की विभिन्न योजनाओं से प्राप्त होगी जिसमें ब्याज रहित ऋण केंद्रीय अनुदान और अन्य योजनाएं शामिल हैं।

    Hero Image
    केंद्र की विभिन्न योजनाओं से राज्य को कहीं ज्यादा धनराशि मिलेगी।

    राज्य ब्यूरो, लखनऊ। अगले वित्तीय वर्ष के केंद्रीय बजट से राज्य को चार लाख करोड़ रुपये मिलने का अनुमान है। केंद्रीय करों में प्रदेश की हिस्सेदारी बढ़ने के साथ ही केंद्र की विभिन्न योजनाओं से राज्य को कहीं ज्यादा धनराशि मिलेगी। 

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    ब्याज रहित ऋण के तौर पर जहां लगभग 15 हजार करोड़ रुपये राज्य को मिल सकते हैं वहीं 20 हजार करोड़ रुपये केंद्रीय अनुदान भी मिलने की उम्मीद है। इस वित्तीय वर्ष से कहीं अधिक धनराशि अगले वित्तीय वर्ष में मिलने से प्रदेश में विकास को और रफ्तार मिलेगी। राज्य को चालू वित्तीय वर्ष में ही केंद्रीय करों से 12 हजार करोड़ रुपये और मिलेंगे।

    2025-26 में केंद्रीय करों से 2.55 लाख करोड़ रुपये 

    केंद्रीय बजट प्रस्तुत किए जाने के बाद वित्त मंत्री सुरेश कुमार खन्ना ने बताया कि वित्तीय वर्ष 2025-26 में केंद्रीय करों से राज्य को 2.55 लाख करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं। वित्तीय वर्ष 2024-25 के मूल बजट में केंद्रीय करों से 2.18 लाख करोड़ रुपये आवंटित किए गए थे, लेकिन शनिवार को केंद्रीय मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा पेश किए गए बजट के पुनरीक्षित आंकड़ों के आधार पर इस वित्तीय वर्ष में राज्य को अब 2,30,854.62 करोड़ रुपये मिलेंगे। 

    इस तरह से मौजूदा वित्तीय वर्ष में 12 हजार करोड़ रुपये और मिलने के साथ ही अगले वित्तीय वर्ष में इस वर्ष की तुलना में लगभग 24 हजार करोड़ रुपये केंद्रीय करों से ही अधिक मिलने का अनुमान है।

    खन्ना ने बताया कि पूंजीगत व्यय को बढ़ावा देने के लिए केंद्र सरकार की 50 वर्षीय ब्याज रहित ऋण की योजना है। इस योजना के तहत राज्य अब तक 10,795.16 करोड़ रुपये ले चुका है। 

    राज्य सरकार की कोशिश है कि चालू वित्तीय वर्ष में ही योजना के तहत और ऋण लिया जाए। चूंकि अगले वित्तीय वर्ष के लिए भी केंद्र सरकार ने 1.50 लाख रुपये योजना में रखे हैं, इसलिए राज्य सरकार अगले वित्तीय वर्ष में भी 15 हजार करोड़ रुपये ऋण लेने की कोशिश करेगी।

    केंद्र सहायतित योजनाओं में प्रदेश को लगभग 87 हजार करोड़ रुपये के साथ ही अन्य केंद्रीय योजनाओं में भी तकरीबन 13 हजार करोड़ रुपये मिलने का अनुमान है। केंद्रीय वित्त आयोग से भी लगभग 10 हजार करोड़ रुपये राज्य को मिलने की उम्मीद है। 

    इसी तरह विभिन्न अनुदान के तौर पर भी प्रदेश को 20 हजार करोड़ रुपये मिल सकते हैं। केंद्रीय बजट से मिलने वाली अनुमानित धनराशि के आधार पर अब वित्त विभाग राज्य के बजट की कवायद को अंतिम रूप देगा। माना जा रहा है 17 फरवरी से विधानमंडल का बजट सत्र बुलाकर राज्य सरकार अपना बजट पेश करेगी।

    यह भी पढ़ें: Budget 2025: कम उत्पादकता वाले जिले होंगे धन धान्य, 'राज्यों के साथ होगी प्रधानमंत्री धन-धान्य कृषि योजना' की शुरुआत