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    राज्यपाल के अभिभाषण के बीच यूपी विधान भवन की गुल हो गई बिजली, तीन अभियंता निलंबित; एक की सेवा समाप्त

    By Vikas MishraEdited By:
    Updated: Tue, 24 May 2022 07:11 AM (IST)

    यूपी विधानसभा में बिजली गुल होने पर बड़ी कार्रवाई की गई है। विभाग ने तीन अभियंताओं को जिम्मेदार ठहराते हुए निलंबित कर दिया है। इसके अलावा उपकेंद्र परिचालक दीपक शर्मा की सेवा समाप्त करने का आदेश किया है।

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    विधानसभा की बिजली जाने पर तीन अभियंताओं को देर शाम निलंबित कर दिया गया।

    लखनऊ, जागरण संवाददाता। उत्तर प्रदेश में अचानक खराब हुए मौसम की मार आम लोगों के साथ बिजली विभाग के अधिकारियों पर भी पड़ी है। सोमवार को शुरू हुए यूपी विधानमंडल के बजट सत्र के दौरान अचानक बिजली चली गई। बताया जा रहा है कि उस वक्त राज्यपाल के अभिभाषण चल रहा था। इसका खामियाजा बिजली विभाग के तीन अधिकारियों और एक कर्मचारी को भुगतना पड़ा है। 

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    राज्यपाल के अभिभाषण के दौरान सोमवार को विधान भवन की बत्ती गुल होने को गंभीरता से लेते हुए शासन ने लखनऊ के विद्युत पारेषण खंड-प्रथम के अधिशासी अभियंता संजय पासवान, उपखंड अधिकारी पुष्पेश गिरी और अवर अभियंता अमर राज को निलंबित कर दिया है, जबकि उपकेंद्र परिचालक (संविदाकर्मी) दीपक शर्मा की सेवाएं समाप्त कर दी गई हैं।

    विधानमंडल के बजट सत्र के पहले दिन विधान सभा मंडप में राज्यपाल आनंदीबेन पटेल के अभिभाषण के दौरान कुछ समय के लिए बत्ती गुल हो गई थी। तमाम इंतजाम के बावजूद सदन की कार्यवाही के दौरान यूं बिजली गुल होने पर ऊर्जा मंत्री एके शर्मा देर शाम शक्ति भवन मुख्यालय पहुंचे। उन्होंने प्रमुख सचिव ऊर्जा और उप्र पावर कारपोरेशन के अध्यक्ष एम.देवराज और वरिष्ठ अधिकारियों के साथ सदन में बिजली गुल होने के कारणों के बारे में जानकारी ली।

    मामले की पड़ताल करने पर पता चला कि तेज आंधी को देखते हुए ट्रांसमिशन उपखंड मार्टिनपुरवा से आपूर्ति ठप कर दी गई थी जिससे बिजली आपूर्ति व्यवस्था प्रभावित हुई। प्रबंधन ने इसे गंभीर लापरवाही मानते हुए अधिशासी अभियंता सहित अन्य पर कार्रवाई की है। प्रमुख सचिव ऊर्जा ने बताया कि संबंधित पारेषण और वितरण खंड के अभियंताओं को निर्देश दिए हैं कि सदन की कार्यवाही के दौरान सभी सतर्क रहें ताकि निर्बाध बिजली आपूर्ति बनी रहे।

    बता दें कि सोमवार को आंधी व बारिश के कारण पहले सरोजनी नगर लाइन ट्रिप हुई, फिर चिनहट से चलाया गया, वह भी ट्रिप हो गई। विधानसभा सत्र के पहले दिन बिजली की आवाजाही अभियंताओं पर भारी पड़ी। हालांकि, मिनटों में गोमती नगर ट्रांसमिशन से बिजली विधान भवन की सामान्य कर दी गई, लेकिन देर शाम तक चली जांच में तीन अभियंताओं को प्रारंभिक जांच में दोषी पाते हुए निलंबित कर दिया गया।

    मार्टिनपुरवा ट्रांसमिशन से राजभवन खंड और हुसैनगंज खंड के कई बिजली उपकेंद्र पोषित है। लाइनें ट्रिप होने से आधा दर्जन से अधिक बिजली उपकेंद्र की आपूर्ति पूरी तरह से प्रभावित रही। वहीं मार्टिनपुरवा बंद होने से ट्रांसमिशन से जुड़े अभियंताओं में हड़कंप मच गया। क्याेंकि विधानसभा का सत्र चल रहा था। अभियंताओं का तर्क था कि तेज आंधी और बारिश के कारण लाइनें ट्रिप हुई।

    वहीं मार्टिनपुरवा ट्रांसमिशनर लाइन से जो बिजली उपकेंद्र पोषित हैं, उनमें रेसकोर्स, कूपर रोड, राजभवन, जवाहर भवन, डालीबाग, हुसैनगंज, लोकभवन, दारुलशफा, ओसीआर सहित कई बिजली उपकेंद्र हैं। इन बिजली उपकेंद्रों में राजभवन बिजली उपकेंद्र से एक फीडर विधानसभा का है। जो मार्टिनपुरवा ट्रांसमिशन लाइन बंद होने से राजभवन बिजली उपकेंद्र प्रभावित हुआ। वहीं अभियंताओं का दावा है कि बिजली आपूर्ति दोनों सोर्स फेल होने पर मिनटों में गोमती नगर ट्रांसमिशन लाइन से चालू कर दी गई थी।

    उधर मध्यांचल के प्रबंध निदेशक अनिल ढींगरा ने विश्वविद्यालय, रेजीडेंसी और महानगर खंड का सोमवार की सुबह निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान अभियंताओं से बिजली आपूर्ति और कार्यों को लेकर जानकारी ली। उन्होंने उपभोक्ताओं की समस्याओं को प्राथमिकता पर निस्तारित करने के साथ ही बिलिंग प्रतिशत सौ फीसद करने के साथ ही बिजली आपूर्ति बेहतर बनाए रखने के निर्देश दिए।