उत्तर प्रदेश के 25 जिलों के मिली सौगात, सीएम योगी के निर्देश पंर 72 मार्गों का कायाकल्प करेगा लोक निर्माण विभाग
उत्तर प्रदेश में धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर धार्मिक स्थलों को जाने वाले मार्गों का कायाकल्प करने की योजना पर काम शुरू हो गया है। लोक निर्माण विभाग ने पर्यटन विभाग की सिफारिश पर 72 मार्गों को चौड़ा व नवीनीकरण करने के लिए चिह्नित किया है जिन पर 1482.93 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे।

मनोज त्रिपाठी, लखनऊ। प्रदेश में धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर पहली बार धार्मिक स्थलों को जाने वाले मार्गों का कायाकल्प करने की योजना पर लोक निर्माण विभाग ने काम शुरू कर दिया है।
पर्यटन विभाग की सिफारिश पर लोक निर्माण विभाग ने फिलहाल 72 मार्गों को चौड़ा व नवीनीकरण करने के लिए चिह्नित किया है। इन पर 1482.93 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। सरकार ने धार्मिक स्थलों के मार्गों को दुरुस्त करने के लिए 1750 करोड़ रुपये के बजट का प्रविधान किया है।
इस वर्ष पर्यटकों के बढ़ने के आसार
घरेलू पर्यटकों की संख्या के मामले में उत्तर प्रदेश लगातार दो वर्षों से देश में पहले स्थान पर चल रहा है। प्रदेश में पिछले वर्ष 48 करोड़ पर्यटकों ने विभिन्न पर्यटन स्थलों का भ्रमण किया था। इस वर्ष यह संख्या और ज्यादा बढ़ने के आसार हैं।
उत्तर प्रदेश को वन ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने में पर्यटन विभाग की भूमिका अहम होगी। यही वजह है कि मुख्यमंत्री खुद प्रदेश में पर्यटन उद्योग को बढ़ावा देने की कोशिश में लगे हैं।
इसके लिए ईको-पर्यटन के साथ-साथ सरकार ने प्रदेश में आध्यात्मिक व धार्मिक पर्यटन को भी बढ़ावा देने की तैयारी शुरू कर दी है। अयोध्या में श्रीराम मंदिर के निर्माण के बाद पर्यटकों की संख्या में बढ़ोतरी हुई है।
सरकार गंवाना नहीं चाहती महाकुंभ का मौका
अगले वर्ष जनवरी माह में प्रयागराज में आयोजित होने वाले महाकुंभ में भी 40 करोड़ पर्यटकों के आने की उम्मीद की जा रही है। सरकार इस मौके को गवाना नहीं चाहती है। इसीलिए महाकुंभ के आयोजन को लेकर भारत सहित अन्य देशों में भी प्रचार किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री के निर्देश पर लोक निर्माण विभाग ने प्रमुख धार्मिक स्थलों को जाने वाले मार्गों को दुरुस्त करने के लिए पर्यटन विभाग से प्रस्ताव मांगा था। पर्यटन विभाग से मिले प्रस्तावों को लेकर लोक निर्माण विभाग ने फिलहाल 72 मार्गों को चिह्नित किया है। इन्हें धार्मिक मार्गों की योजना के तहत पहले चरण में सही किया जाएगा।
इनमें मथुरा में 10, चित्रकूट में सात, फर्रुखाबाद में पांच, बलिया, बस्ती, बुंलदशहर में चार-चार, संत कबीर नगर, गोंडा, महराजगंज, बागपत, मेरठ, मीरजापुर, रामपुर, प्रतापगढ़ में तीन-तीन, श्रावस्ती, अयोध्या, गाजियाबाद में दो-दो और आगरा, बाराबंकी, सुलतानपुर, आजमगढ़, बहराइच, बलरामपुर, जालौन, हरदोई में एक-एक धार्मिक मार्ग शामिल हैं।
इन्हें चौड़ा करने व इनके नवीनीकरण पर 1482.93 करोड़ रुपये खर्च करने का प्रस्ताव विभाग ने तैयार कर शासन को भेजा है। इनमें 24 मार्ग इस प्रकार के हैं जो लोक निर्माण विभाग की किसी भी योजना में शामिल नहीं थे, जबकि 23 मार्ग अन्य जिला मार्ग व 21 मार्ग ग्रामीण मार्ग के रूप में चिह्नित थे। छह नए मार्गों का भी निर्माण किया जाएगा।
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