पांचवें दिन श्रद्धालुओं ने की स्कंदमाता की पूजा
नवरात्रि का पांचवां दिन देवी स्कंदमाता के नाम रहा। देवी की पांचवी शक्ति स्कंदमाता की पूजा की।
लखीमपुर : नवरात्रि का पांचवां दिन देवी स्कंदमाता के नाम रहा। देवी की पांचवी शक्ति स्कंदमाता की सुबह से लोगों ने घरों में पूजा की। घरों के अलावा शहर के पौराणिक संकटा देवी मंदिर में भी लंबी कतारें लगी रहीं तथा जय माता दी के जयकारे गूंजते रहे। यहां गर्भगृह में स्थापित अष्टभुजी प्रतिमा के दर्शन करने के लिए लोग कतारों में खड़े दिखाई दिए। पूरा मंदिर परिसर भजनों से गूंजता रहा।
मुख्य मंदिर के पुरोहित अंकुर शुक्ला ने बताया कि देवी का पांचवां स्वरूप स्कंदमाता का है। सनत कुमार यानी स्कंद की माता होने के कारण इन्हें उन्हीं के नाम से जाना जाता है। सिंह पर सवार स्कंदमाता की चार भुजाएं हैं। वह सभी तत्वों की मूल बिदु स्वरूपा हैं। पारंपरिक दुर्गा प्रतिमा इस बार यज्ञशाला में स्थापित की गई है। यज्ञशाला में दर्शन के लिए तीन से चार की संख्या में ही श्रद्धालु जा रहे हैं तथा दूर से ही दर्शन कर रहे हैं। मंदिर में सैनिटाइजेशन की भी व्यवस्था की गई है। इसके अलावा श्रद्धालुओं के चेहरे पर मास्क जरूरी कर दिया गया है।
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