नम आंखों से दफन किए ताजिए
लखीमपुर : हजरत इमाम हुसैन की शहादत की याद में जिले के कई इलाकों में रविवार को अकीदत व एहतराम के साथ
लखीमपुर : हजरत इमाम हुसैन की शहादत की याद में जिले के कई इलाकों में रविवार को अकीदत व एहतराम के साथ मुहर्रम का जुलूस निकाला गया। जुलूस में हजारों अकीदतमंदों ने शिरकत की। मातम करते हुए या हुसैन ¨जदाबाद के नारे लगाए। देर शाम नम आंखों से ताजियों को सुपुर्दे खाक किया गया।
खीरीटाउन संवादसूत्र के मुताबिक कस्बा खीरी में शिया व सुन्नी दोनों समुदाय ने बड़ी अकीदत व एहतराम के साथ मुहर्रम का जुलूस निकाला। जुलूस में हजारों अकीदतमंदों ने शिरकत की। सुन्नी समुदाय के लोगों ने हाथों में ताजिये लेकर जुलूस में शामिल हुए और मातमी धुन में बाजा बजाया गया। दोपहर बाद दरगाह शरीफ से ताजियों को उठाया गया। अंजुमन इस्लामिया के सदर सैय्यद मेराज मियां के नेतृत्व में ताजियों का जुलूस लहरपुर रोड होता हुआ मीरा तालाब पहुंचा, जहां लोगों ने नम आंखों से ताजियों को दफन किया। इसके बाद शाही किला के निकट इमाम बाड़ा परिसर से ताजियों का जुलूस निकाला गया, जो स्टेशन रोड, अवधी टोला बाजार होता हुआ ईदगाह के निकट मैदान में ताजियों को दफन किया गया। इस मौके पर अंजुमन इस्लामियां के डॉ. मतलूब अहमद, ज्वाइंट सेक्रेटरी मो. सईद खां, शकील अजमानी आदि लोगों ने बढ़-चढ़ कर हिस्सा लिया। सुबह शिया समुदाय के अंजुमन गुलामाने हुसैन व अंजुमन हुसैनिया के बैनर तले जुलूस निकाला गया, जो कस्बे के विभिन्न मार्गों पर होता हुआ सैय्यद बाड़ा पहुंचा जहां पर शिया समुदाय के लोगों ने छूरी का मातम किया व या हुसैन के नारे लगाए। इस मौके पर अब्बन जैदी, हैदर मंटू, रफी मिर्जा, शिबलू जैदी, असलम आदि लोग मौजूद रहे।
ओयल संवादसूत्र के मुताबिक कस्बे में मुहर्रम का जुलूस निकाला गया। इसके अलावा जमुनिहां, मढराही, सरैयां, खागीओयल, मढिया, जमुनिहां, पहाड़खां पुरवा, तकिया आदि गांवों के ताजिये व कस्बा ओयल से भी दोपहर बाद दो बजे से ही ताजियेदार अपने-अपने ताजियों के साथ ढोल नगाड़ों व तासे के साथ कस्बे के मुख्य मार्गों पर से होकर अंत में ढखवा बाजार की सरैयां-खीरी मार्ग पर स्थित कर्बला व मोतीपुर के मजरा जुलाहन पुरवा के कर्बला पहुंचे। जहां पर सभी ताजियेदारों ने अपने अपने ताजिये दफन किए।
ढखेरवा संवादसूत्र के मुताबिक क्षेत्र में मुहर्रम का त्योहार शनिवार और रविवार को शांतिपूर्ण माहौल में मनाया गया। ताजिएदारों ने जुलूस और गाजे-बाजे के साथ ताजिए लेकर कर्बला पहुंचे जहां पर मातमी माहौल में ताजियों को सुपर्दे खाक कर दिया गया। इस मौके पर शनिवार को पठाननपुरवा निवासी साजिद खां, माशूम खां, अतीक खां और शाबिर आदि अकीदतमंद 120 फिट का ताजिया लेकर कर्बला पहुंचे जो आकर्षण का केंद्र रहा। रमियाबेहड़ में कुशहा के आलमशेर और चहलुआ के चुन्नीलाल द्वारा कर्बला लाया गया लगभग 130 फिट का ताजिया काफी आकर्षण का केंद्र रहा।
अमीरनगर संवादसूत्र के मुताबिक क्षेत्र के लगभग डेढ़ दर्जन गांवों के ताजियादार ताजिये लेकर कर्बला शरीफ के मैदान पहुंचे। 40 फिट से लेकर एक सौ तीस फिट ऊंचाई के ताजिये जुलूस में शामिल थे। विशालकाय ताजिया छब्बीस अक्टूबर को दफन किए जाएंगे।
गोलागोकर्णनाथ संवादसूत्र के मुताबिक खुटार रोड स्थित ईदगाह कर्बला पर गमगीन माहौल में रविवार को ताजिए सुपुर्द ए खाक किए गए। अकीकत के साथ नगर के मुहल्ला ऊंची भूड, नींची भूड, अर्जुननगर कॉलोनी, पूर्वी दीक्षिताना, इस्लामनगर, पश्चिमी दीक्षिताना में ताजिए सजाए गए थे। शनिवार की रात्रि 10 बजे के बाद से ताजिए उठना शुरू हो गए थे। रविवार की सुबह तक उन्हें ढोल नागडों के साथ मातमी माहौल में खुटार रोड स्थित ईदगाह कर्बला तक ले जाया गया।
बिझौली संवादसूत्र के मुताबिक हजरत इमाम हुसैन की सहादत की याद दिलाने वाले पर्व मोहर्रम गमगीन महौल में मनाया गया। रजागंज क्षेत्र के गांव कोटवरा, रजागंज, खामौल, केसवापुर, जलालपुर, सियाथु, करनपुर टिहुलिया, बख्खारी सहित कई गावो में ़गमगीन माहौल ताजिये दारो ने ताजियों को कर्बला ले जाकर नम आंखों से दफन किया।
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