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    Kasganj News: खतरे के निशान से 7 CM ऊपर पहुंची गंगा, कई गांव बाढ़ से प्रभावित; प्रशासन ने राहत सामग्री पहुंचाई

    कासगंज में गंगा नदी का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर है पहाड़ों से पानी छोड़े जाने के बाद इसमें और वृद्धि हुई है। कई गांव बाढ़ से प्रभावित हैं जहां राहत सामग्री पहुंचाई जा रही है। जलस्तर बढ़ने से ग्रामीणों में चिंता का माहौल है क्योंकि आवागमन और दैनिक जीवन प्रभावित हो रहा है। सिंचाई विभाग स्थिति पर नजर बनाए हुए है।

    By suman kumar Edited By: Abhishek Saxena Updated: Wed, 27 Aug 2025 09:45 AM (IST)
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    गंगा का पानी तटवर्ती गांवों में अभी भरा हुआ है।

    संसू, जागरण.गंजडुंडवारा/कासगंज। एक माह से गंगा खतरे के निशान से ऊपर चल रही है। जलस्तर में उतार-चढ़ाव लगातार जारी है। मंगलवार को पानी छोड़े जाने के बाद गंगा के जलस्तर में सात सेंटीमीटर की वृद्धि हो गई। सोमवार को कछला पर गेज 162.44 मीटर था। जबकि सात सेंटीमीटर बढ़कर गेज 162.51 मीटर हो गया है। लगातार हो रहे उतार-चढ़ाव को लेकर तटवर्ती ग्रामीण परेशान है। तटवर्ती क्षेत्र के लोगों को राहत सामग्री पहुंचाई जा रही है।

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    गंगा के जलस्तर में उतार चढ़ाव जारी है। तटवर्ती क्षेत्र के लोग इसे लेकर परेशान हैं। हालांकि ग्रामीण क्षेत्र में जहां बाढ़ का पानी अभी भी भरा है। उन गांवों में राहत सामग्री पहुंचाने का कार्य किया जा रहा है। स्वास्थ्य सेवाएं भी पहुंच रही हैं। स्वास्थ्य टीम के लोग पानी में होकर ग्रामीणों तक सेवाएं उपलब्ध करा रहे हैं।

    मंगलवार को भी पहाड़ाें से छोड़ा गया गंगा में पानी

    क्षेत्र के दर्जन भर गांव ऐसे हैं जहां गंगा की बाढ़ का पानी अभी तक निकला नहीं है। नगला हंसी, मूजखेड़ा, राजेपुर कुर्रा, नगला चतुरी, नगला जैली, मूजखेड़ा सहित अन्य गांव के ग्रामीण परेशान हैं। दिनचर्या प्रभावित है। खान-पान को और मवेशियों के चारे को लेकर ग्रामीण चिंतित बने हुए हैं। सड़कें पानी से भरी हैं। आवागमन भी प्रभावित है। गंगा में पहाड़ों से छोड़ा जा रहा पानी का क्रम जारी है।

    सोमवार को कछला पर गेज 162.44 मीटर था। जबकि मंगलवार को जलस्तर में सात सेंटीमीटर की बढ़ोत्तरी होने के बाद गेज 162.51 मीटर पहुंच गया है। सिंचाई विभाग के अधिकारी निगरानी बनाए हुए हैं। बांढ चौकियां भी सक्रिय बनी हुई हैं।

    गंगा की बाढ़ के खतरे काे लेकर ग्रामीणों में चिंता बनी हुई है। गंगा खतरे के निशान से नीचे नहीं जा रही। गांव में पानी भरा है। लोग परेशान हैं। आवागमन प्रभावित हो रहा है। - रुकुम सिंह, मूजखेड़ा

    गांव की सड़कें खेत बाढ़ के पानी में डूब चुके हैं। पानी कम नहीं हो पा रहा। अाने-जाने से लेकर खाने पीने तक की परेशानी हो रही है। मवेशियों के लिए चारा बाहर से ला रहे हैं। - मौजीराम, मूजखेड़ा

    गंगा में छोड़ा गया पानी

    • हरिद्वार 1,39,914 क्यूसेक
    • बिजनौर 1,44,807 क्यूसेक
    • नरौरा 1,43,514 क्यूसेक
    • कछला पर गेज 162.51 मीटर

    गंगा का जलस्तर घट-बढ़ रहा है। मंगलवार के सात सेंटीमीटर की वृद्धि हुई है। पटियाली क्षेत्र के निचले गांव में भरा पानी निकलने नहीं पा रहा है। लोग परेशान है। कछला पर गेज 162.51 मीटर मापा गया है। - द्रोण कुमार, प्रभारी अधिशाषी अभियंता