Kasganj Accident News: ये कैसी मानवता, इधर पानी में तड़पते रहे श्रद्धालु, उधर लोग बनाते रहे वीडियो, 23 मौतों में नहीं पसीजा दिल
Kasganj Accident News In Hindi पुलिस ने जेसीबी बुलाकर बचाव और राहत कार्य कराया शुरू। घटना स्थल से पटियाली की दूरी मात्र आठ किमी है मगर अधिकारियों को पहुंचने में करीब एक घंटा लगा। फिर जेसीबी मंगाकर वचाव और राहत कार्य शुरु किया गया। कड़ी मशक्त के बाद दबे श्रद्धालुओ को बाहर निकाल कर सामुदायिक केंद्र पटियाली भेजा गया। जहां चिकित्सकों ने कइयों को मृत घाेषित कर दिया।
जागरण संवाददाता, कासगंज। श्रद्धालुओं से भरी ट्रैक्टर ट्राली सड़क किनारे तालाब में पलट जान के बाद मौके पर जुटी भीड़ में लोग तमाशबीन अधिक नजर आए। वह बचाव कार्य करने के बजाय तालाब में पड़े ट्रैक्टर ट्राली का वीडियो बनाते दिखाई दिए।
उध,र ट्राली के नीचे दबे पड़े श्रद्धालु पानी में तड़पते रहे। सूचना मिलने पर करीब एक घंटा बाद पुलिस और प्रशासनिक अधिकारी पहुंच सके। तब जाकर राहत कार्य शुरू हो सका।
मुंडन संस्कार में जा रहे थे सभी
पड़ोसी जिला एटा की ग्राम पंचायत खीरिया बनार के गांव कसा निवासी 45 वर्षीय सतेंद्र अपने डेढ़ वर्षीय नाती सिद्दू का मुंडन संस्कार कराने के लिए गांव के ही राहुल की ट्रैक्टर ट्राली लेकर कादरगंज गंगाघाट पर आ रहे थे। ट्राली में महलाओं और बच्चों सहित 54 लोग थे।
दरियावगंज क्षेत्र में गड़ैया पुलिया के पास ट्रैक्टर ट्राली की कपलिंग टूट गई और अनियंत्रित होकर तालाब में पलट गया। घटना के बाद वहां भीड़ इकट्ठी हो गई। ऐसे में अमानवीय दृश्य देखने को मिला। लोग बजाव करने के बजाय तालाब में घुसे ट्रैक्टर ट्राली की वीडियो बना रहे थे। दबे हुए श्रद्धालुओं को निलकने का प्रयास करते कोई नजर नहीं आ रहा था।
भीड़ के बीच दरियावगंज गांव के विष्णू चौहान नाम के व्यक्ति ने पुलिस के आलाधिकारियों को घटना की सूचना दी। सूचना मिलने के बाद सबसे पहले पटियाली एसडीएम कुलदीप सिंह, सीओ विजय कुमार राना, इंस्पेक्टर गोविंद वल्लभ शर्मा फोर्स के साथ पहुंचे।
एक घंटे बाद पहुंचा पुलिसफोर्स
23 श्रद्धालुओं को जिला अस्पताल के लिए भेज दिया गया। रास्ते में सात लोगों की मृत्यु हो गई। 11 श्रद्धालुओं में से 9 को बेहतर उपचार के लिए अलीगढ़ मेडिकल कालेज रेफर कर दिया गया। अलीगढ़ ले जाते समय एक बच्चे की और मृत्यु हो गई।
सिद्दू के मुंड़न की खुशियां मातम में बदली
कसा निवासी सतेंद्र उर्फ टिंकू अपने डेढ़ वर्षीय नाती सिद्दू का मुंड़न संस्कार कराने के लिए कादरगंज गंगाघाट जा रहे थे। इसको लेकर दो दिन से तैयारियां चल रही थीं। सतेंद्र ने गांव के लाेगों को गंगा पर ले जाने के लिए शुक्रवार की शाम को बुला लिया था। उन्होंने गंगा पर जाने के लिए रौरी गांव के राहुल की ट्रैक्टर ट्राली को मंगाया था। सतेंद्र खुद ट्रैक्टर चला रहे थे। इस दुर्घटना में मासूम सिद्दू के साथ 23 श्रद्धालुओं की जान चली गई। सिद्दू के मुंड़न की खुशियां मातम में बदल गईं।
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बूढ़े पिता के सामने परिवार का अंत
श्रद्धालुओं से भरी ट्रैक्टर ट्राली पलटने से एक परिवार के बूढ़े पिता को छोड़कर सभी स्वजन का अंत हो गया। परिवार में सिर्फ मुकेश ही बचे हैं। मुकेश का इकलौता बेटा 35 वर्षीय शिवम था। वह अपनी 30 वर्षीय पत्नी उशमा देवी,10 वर्षीय बेटा अनुभव, 8 वर्षीय बेटा आर्यन, 6 वर्षीय बेटी अंजली के साथ गंगा स्नान करने जा रहा था। एक ही परिवार के 5 सदस्यों की इस दुर्घटना में जान चली जाने से परिवार का अंत हो गया। मुकेश की पत्नी पूर्व में ही खत्म हो गई थी। अब परिवार में कोई चिराग जलाने वाला नहीं रहा है।
रेलवे स्टेशन से 500 मीटर दूरी की घटना
श्रद्धालुओं से भरे ट्रैक्टर ट्राली पलटने की दुर्घटना दरियावगंज रेलवे स्टेशन से मात्र 500 मीटर दूरी पर हुई है। यह व्यस्तम इलाका है। आसपास दुकानें भी हैं। इसलिए हादसे के बाद भारी संख्या में लोगों की भीड़ एकत्रित हो गई। अगर स्थानीय लोग वचाव कार्य में जुट जाते और तालाब में उलटी पड़ी ट्राली को सीधे कर देते, तो शायद इतने लोगों की जान नहीं जाती।
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