खास हैं गोपाल खन्ना के बनाए खिलौने, अंतरराष्ट्रीय विज्ञान महोत्सव में मिला पहला पुरस्कार
कानपुर शहर के नवाबगंज में रहने वाले गोपाल खन्ना के खिलौनों को भारतीय अंतर राष्ट्रीय विज्ञान महोत्सव में पहला स्थान मिला है । खेल-खिलौनों का उत्सव कार् ...और पढ़ें

कानपुर, जागरण संवाददाता। शहर में नवाबगंज निवासी गोपाल खन्ना द्वारा तैयार खिलौनों को देश भर में सराहना मिली है। गोवा में संचालित भारतीय अंतरराष्ट्रीय विज्ञान महोत्सव के खेल-खिलौना उत्सव के स्टाल में प्रदर्शित गोपाल खन्ना द्वारा बनाए लकड़ी के खिलौनों को पहला पुरस्कार मिला। उनको 25000 रुपये का नकद पुरस्कार और प्रशस्ति पत्र से भी सम्मानित किया गया।
यही नहीं उन्होंने गोवा के इस महोत्सव में और आनलाइन व आफलाइन जुड़े छात्र-छात्राओं को मौके पर लकड़ी के घोसले बनाना सिखाया। सोमवार को यह जानकारी फेस्टिवल आफ गेम्स एंड ट््वायज के राष्ट्रीय समन्वयक कौस्तुभ ओमर ने दी। उन्होंने बताया पृथ्वी मंत्रालय व विज्ञान प्रौद्योगिकी विभाग की की ओर से 10 से 13 दिसंबर तक भारतीय अंतरराष्ट्रीय विज्ञान महोत्सव का आयोजन हुआ था। हाथ से बने खिलौनों को बढ़ावा देने के लिए खेल-खिलौनों का स्टाल भी लगाया गया था। जिसमें हाथ से लकड़ी के खिलौने बनाने में माहिर शहर के गोपाल खन्ना ने भी हिस्सा लिया था।
उन्होंने हाथ से बने खिलौने में शिमला की ट््वाय ट्रेन, राम दरबार, कोरोना के दौरान बनाया गया सोशल डिस्टेंसिंग बेड, झूला का प्रदर्शन किया। देशभर से शामिल प्रतिभागियों, शिक्षकों व छात्रों व अन्य जिम्मेदार पदाधिकारियों ने उनके खिलौनों को सराहा। इस वजह से गोपाल को पहला स्थान भी मिला। बैंक से सेवानिवृत्त गोपाल खन्ना लंबे समय से खिलौने बना रहे हैं। कुछ समय पहले से वह पक्षियों के लिए घोंसले भी बनाते हैं। सेब की पेटी से उन्होंने घोंसले बनाने की कला बच्चों को सिखाई। इस दौरान निर्णायक मंडल में उद्यमी पराग मानकीकर, वैज्ञानिक डा.जयंत जोशी और डीआरडीओ के शैलेंद्र जायसवाल शामिल रहे।

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