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    UP News: कानपुर में पकड़ा गया रोहिंग्या, भाषा अलग होने पर पुलिस को हुआ शक; फर्जी आधार और डीएल मिला

    Updated: Thu, 22 May 2025 04:36 PM (IST)

    कानपुर के शुक्लागंज में पुलिस ने एक रोहिंग्या को गिरफ्तार किया। पूछताछ के दौरान भाषा भिन्न होने पर संदेह हुआ जिसके बाद उसके पास से फर्जी आधार कार्ड और ड्राइविंग लाइसेंस बरामद हुए। उसने बताया कि वह पिछले आठ सालों से अपने परिवार के साथ गंगा कटरी में रह रहा है। पुलिस ने उसके घर से अन्य दस्तावेज और मोबाइल फोन भी जब्त किए हैं।

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    बड़े चौराहे पर पकड़ा गया रोहिंग्या, फर्जी आधार और ड्राइविंग लाइेंसस मिला

    संवाद सहयोगी, शुक्लागंज (उन्नाव) कानपुर बड़ा चौराहे के पास आटो चला रहे एक रोहिंग्या को कोतवाली थाना पुलिस ने वाहनों की चेकिंग के दौरान पकड़ा। पूछताछ के दौरान उसकी भाषा अलग होने पर पुलिस को शक हुआ था। उसके पास से मिला आधार और ड्राइविंग लाइसेंस भी फर्जी निकला।

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    उसने बताया कि वह पत्नी व बच्चो समेत 10 लोगों के साथ शुक्लागंज के शक्तिनगर मुहल्ले में गंगा कटरी में झुग्गी झोपड़ी में करीब आठ साल से रह रहा है। कोतवाली पुलिस टीम ने बुधवार दोपहर उसे लेकर उसके घर पहुंची, जहां पूछताछ कर कई और दस्तावेज, दो मोबाइल बरामद किए।

    पुलिस ने उसके खिलाफ रात में मुकदमा दर्ज किया है। डीसीपी पूर्वी सत्यजीत गुप्ता ने बताया कि बड़ा चौराहे के पास मंगलवार को कोतवाली थाना पुलिस संदिग्ध वाहनों की जांच कर रही थी। इस दौरान एक आटो आगे-पीछे हो रहा था। इस पर उसके चालक से पूछताछ की उसकी भाषा अगल लगी।

    उसने अपना नाम मोहम्मद साहिल बताया। उसने अपना ड्राइविंग लाइसेंस व आधार कार्ड दिखाया, जिस पर पता शुक्लागंज के शक्तिनगर गंगा कटरी का था लेकिन पूछताछ में उसने बताया कि वह म्यांमार का रहने वाला है। करीब आठ साल से वह पत्नी, बच्चों, बहन, बहनोई व पिता समेत 10 लोगों के साथ रहता है। पिता बीमार चल रहे हैं।

    डीसीपी ने बताया कि कोतवाली थाना प्रभारी जगदीश पांडेय समेत टीम को उसके घर भेजा गया, जहां पर परिवार के लोग मिले। घर पर कई अन्य दस्तावेज व दो मोबाइल मिले, जिन्हें कब्जे में लिया गया।

    कोतवाली थाना प्रभारी जगदीश पांडेय ने बताया कि आरोपित को यहां की नागरिकता नहीं मिली है। फिर ऐसे में वह किस आधार पर आधार व ड्राइविंग लाइसेंस बनवा सकता है। उसने गलत तरह से ये दस्तावेज बनवाए हैं, जो फर्जी हैं। परिवार आठ साल से शुक्लागंज में रह रहा है। इसकी जानकारी उन्नाव के गंगाघाट थाना पुलिस को दे दी गई है। फिलहाल मोहम्मद साहिल को वह कोतवाली थाने लेकर आए हैं। उसके खिलाफ मुकदमा दर्ज किया जा रहा है।

    वहीं, गंगाघाट कोतवाली के अतिरिक्त निरीक्षक फूल सिंह ने बताया कि उनकी जानकारी में ऐसा कोई मामला नहीं है।

    बीमार पिता का इलाज कराने आया था परिवार

    शक्तिनगर मुहल्ले में रह रही रोहिंग्या मोहम्मद साहिल की पत्नी अजीदा ने बताया कि वह लोग मूल रूप से म्यांमार के रहने वाले हैं। उसके वृद्ध ससुर को 11 साल पहले लकवा मार गया था। जिसके इलाज के लिए वह लोग उन्हें लेकर आठ साल पहले शुक्लागंज आए थे। शक्तीनगर मुहल्ले में गंगा कटरी के किनारे टट्टर की झोपड़ी बनाकर परिवार के साथ रह रहे थे।

    उसने बताया कि उसके पति चार भाई हैं। साथ में बहन बहनोई व चार छोटे बच्चे भी रहते हैं। पति व उसके भाई कानपुर में ई-रिक्शा चलाने का काम करते हैं। कानपुर की पुलिस आई थी। घर में रखे कागजात व एक फोन परिवार का और दूसरा फोन पड़ोस में रहने वाले युवक का ले गई है।

    क्या कहते हैं मुहल्ले के लोग

    शक्तीनगर गंगा कटरी के किनारे झुग्गी झोपड़ी डालकर रहने वाले मुहल्ले के लोगों ने बताया कि यह लोग परिवार के साथ बीते लगभग आठ साल से यहां पर रह रहे हैं। परिवार में बच्चों को मिलाकर लगभग 10 लोग हैं। महिलाएं घर से कभी बाहर नहीं निकलती हैं। मुहल्ले में किसी से कभी किसी तरह का कोई विवाद नहीं हुआ। तीन भाई ई-रिक्शा चलाने कानपुर चले जाते थे। रात में लौट आते थे। एक छोटा भाई कहीं जमात में गया हुआ है।