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    न्यायालय में रिटायर्ड इंस्पेक्टर दिनेश त्रिपाठी बोले- मेरा निवास जिला कारागार है...

    By Abhishek AgnihotriEdited By:
    Updated: Tue, 21 Sep 2021 10:53 AM (IST)

    दहेज प्रताड़ना और आत्महतया के एक मामले में न्यायालय में गवाही के लिए पेशी पर लाए गए रिटायर्ड इंस्पेक्टर दिनेश त्रिपाठी ने जिला कारागार अपना पता बताया तो एडीजीसी ने आपत्ति दर्ज कराई। इसके बाद उसने मुस्कुराते हुए प्रयागराज का पता दर्ज कराया।

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    जेल में बंद रिटायर्ड इंस्पेक्टर की दहेज प्रताड़ना के 14 साल पुराने मामले में गवाही हुई।

    कानपुर, जेएनएन। दहेज प्रताड़ना और आत्महत्या से जुड़े एक मामले में फास्ट ट्रैक कोर्ट धनंजय कुमार के न्यायालय में रिटायर्ड इंस्पेक्टर दिनेश त्रिपाठी की गवाही के लिए पेशी हुई। बचाव पक्ष की ओर से जिरह में पूछा गया कि आपका निवास कहां है तो दिनेश ने जवाब दिया कि मेरा निवास जिला कारागार है। इस पर एडीजीसी विनोद त्रिपाठी ने विरोध करते हुए प्रयागराज का पता लिखाने की बात कही। इस पर दिनेश मुस्कुराया और जार्ज टाउन प्रयागराज वाला पता लिखाया।

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    बचाव पक्ष ने पूछा कि आइपीसी पढ़ी है तो जवाब दिया कि हां पढ़ी है, फिर सवाल पूछा कि जब मुकदमे में आरोपित पिंकी उर्फ पप्पी निकट रिश्तेदार नहीं हैं तो दहेज प्रताड़ना की धारा क्यों लगा दी। इस पर जवाब दिया कि विवेचना में प्राप्त तथ्यों के आधार पर आरोपित बनाया था। अभियोजन के मुताबिक वह मुकदमे से संबंधित सवालों का सही जवाब नहीं दे रहे थे। हर सवाल के जवाब में एक ही उत्तर था कि मेरी मानसिक स्थिति ठीक नहीं है।

    पेशी से पहले भेजा था तारीख देने का पत्र एफटीसी कोर्ट ने मामले में दिनेश त्रिपाठी को जेल में समन भेजकर तलब किया था। अभियोजन अधिकारी के मुताबिक दिनेश त्रिपाठी की ओर से न्यायालय को पत्र भेजकर 15 दिन की तारीख दिए जाने की मांग की गई थी। तर्क दिया था कि स्लिप डिस्क के दर्द से पीड़ित है। बैठने और खड़े होने में दर्द की समस्या है इसलिए पेश नहीं हो सकता।बावजूद इसे जेल प्रशासन ने उसे पेशी पर भेज दिया। पेशी के दौरान वह सामान्य रूप से चलकर कोर्ट आया और गया।

    यह था मामला

    कल्याणपुर के आवास विकास निवासी रामू पाल की शादी घटना से तेरह वर्ष पूर्व भवन निवादा बिठूर निवासी अरुणा देवी के साथ हुई थी।11 जुलाई 2007 को अरुणा के भाई मलखान सिंह ने कल्याणपुर में तहरीर दी थी जिसके मुताबिक शादी के बाद से ही रामू भैंस के लिए 50 हजार रुपयों की मांग करता था और बहन को परेशान करता था। उसके महिला से अवैध संबंध की जानकारी बहन को हुई तो विवाद बढ़ गया जिसके चलते उसकी हत्या कर दी गई।