कानपुर में किडनी के मरीजों को मिलेगा उच्चस्तरीय इलाज
हैलट अस्पताल में जल्द शुरू होगी नेफरोलॉजी यूनिट किडनी के मरीजों को मिलेगा उचित इलाज।
जागरण संवाददाता, कानपुर: जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज के हैलट अस्पताल में गुर्दा (किडनी) की बीमारी से जुड़े मरीजों को उच्चस्तरीय इलाज मुहैया होगा। उसमें किडनी में संक्रमण, किडनी में स्टोन और डायलिसिस की अत्याधुनिक व्यवस्था की जा रही है। इसके लिए मेडिसिन विभाग में 30 बेड की नेफरोलॉजी यूनिट जल्द बनेगी। हैलट परिसर स्थित मेडिसिन विभाग में तैयारी चल रही है।
मेडिकल कॉलेज के मेडिसिन विभाग में लखनऊ के संजय गांधी स्नात्कोत्तर आयुर्विज्ञान संस्थान से गुर्दा रोग विशेषज्ञ (डीएम इन नेफरोलॉजी) डॉ. युवराज गुलाटी ने ज्वाइन किया है। मेडिकल कॉलेज की उप प्राचार्य प्रो. रिचा गिरि ने उन्हें अलग नेफरोलॉजी यूनिट बनाने की जिम्मेदारी सौंप दी है। उन्होंने डायलिसिस यूनिट के ठीक बगल में स्थित 30 बेड की नेफरोलॉजी यूनिट का प्रस्ताव तैयार किया है। उसमें ऑक्सीजन पाइप लाइन डाले जाने के साथ ही छह बेड का आइसीयू तैयार किया जा रहा है। इस यूनिट में माइनर ऑपरेशन थियेटर (ओटी) भी बनाया जाएगा। जरूरी उपकरणों के लिए प्राचार्य को प्रस्ताव भेजा गया है।
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हृदय रोग संस्थान के नहीं लगाने पड़ेंगे चक्कर
किडनी के मरीजों की डायलिसिस शुरू होने से पहले फिश्चयूला बनाना पड़ता है। इसके लिए उन्हें हृदय रोग संस्थान भेजना पड़ता था। नेफरोलॉजी यूनिट बनने के बाद वहां का चक्कर भी नहीं लगाना पड़ेगा।
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डायलिसिस यूनिट की कमान
प्रो. रिचा गिरि ने बताया कि नेफरोलॉजिस्टडॉ. युवराज गुलाटी को डायलिसिस यूनिट का प्रभारी बनाया गया है। अब मरीजों की डायलिसिस नए मानकों पर होगी। अभी विभाग में छह डायलिसिस मशीनें हैं। नेफरोलॉजी यूनिट बनने के बाद मशीनों की संख्या 20 की जाएगी।