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    वक्फ की जमीन कब्जाने में आरोपित अखिलेश के भाई सर्वेश और भतीजी की तलाश में छापेमारी

    Updated: Sun, 07 Sep 2025 10:45 PM (IST)

    कानपुर के सिविल लाइंस में वक्फ की जमीन कब्जाने के मामले में अधिवक्ता अखिलेश दुबे के भाई और भतीजी की गिरफ्तारी के लिए पुलिस ने छापेमारी की लेकिन वे नहीं मिले। एसआईटी जांच के बाद मामला दर्ज हुआ था जिसमें अखिलेश और एक इंस्पेक्टर समेत कई लोग आरोपित हैं। जमीन पर गेस्ट हाउस बना है। नवाब मंसूर अली ने जमीन शेख फखरुद्दीन हैदर को बेची थी।

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    अखिलेश दु़बे के भाई सर्वेश और भतीजी की तलाश में छापेमारी। जागरण

    जागरण संवाददाता, कानपुर । सिविल लाइंस में वक्फ की बेशकीमती जमीन कब्जाने में आरोपित अधिवक्ता अखिलेश दुबे के भाई सर्वेश व भतीजी की गिरफ्तारी के लिए ग्वालटोली पुलिस ने साकेत नगर स्थित घर पर छापेमारी की। हालांकि दोनों ही पुलिस को नहीं मिले।

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    एसआइटी की जांच के बाद 13 अगस्त को मामले में अखिलेश और इंस्पेक्टर समेत नौ लोगों के खिलाफ ग्वालटोली थाने में मुकदमा दर्ज किया गया था। आरोपित परिवार ने जमीन पर गेस्ट हाउस और कार्यालय बना रखा है।

    सिविल लाइंस में नवाब मंसूर अली ने करीब तीन बीघा जमीन को वर्ष 1892 में शेख फखरुद्दीन हैदर को बेच दिया था। शेख फखरुद्दीन हैदर के कोई औलाद नहीं थी, इसलिए उन्होंने जमीन को वक्फ को सौंप दी थी। एग्रीमेंट किया था कि जमीन की देखरेख करने वाला उनका वंशज (मुतवल्ली) ही होगा। इसके बाद उनके चचेरे भाई हाफिज हलीम को वर्ष 1911 में 99 साल का पट्टा कर दिया गया था, जिसमें छह-सात किराएदार बसा दिए गए थे।

    मामला कोर्ट पहुंचने के बाद ही अखिलेश गैंग हो गया सक्रिय

    वर्ष 2010 में पट्टा खत्म होने के बाद उनकी पांचवीं पीढ़ी के वंशज परेड के नवाब इब्राहिम हाता निवासी मोईनुद्दीन आसिफ जाह किराएदारों को निकलना चाहते थे, लेकिन मामला कोर्ट पहुंचने के बाद ही अखिलेश गैंग सक्रिय हो गया। कुछ किराएदारों को रसूख की दम पर खदेड़ दिया। कुछ को रुपयों का लालच देकर पावर आफ अटार्नी हासिल कर ली, जो नहीं माने तो कूचरचित दस्तावेजों के जरिए तीन बीघा जमीन पर कब्जा कर लिया था।

    ग्वालटोली थाना प्रभारी संजय गौड़ ने बताया कि मोईनुद्दीन आसिफ जाह की शिकायत पर अखिलेश दुबे, उनके भाई सर्वेश और भतीजी सौम्या समेत जयप्रकाश, शिवांश, राजकुमार शुक्ला और इंस्पेक्टर सभाजीत पर मुकदमा दर्ज किया गया था।

    आरोपितों की गिरफ्तारी के लिए लगातार दबिश दी जा रही है। अखिलेश के भाई सर्वेश और उसकी भतीजी की तलाश में घर पर छापेमारी की गई थी। हालांकि दोनों ही नहीं मिले हैं, तलाश जारी है।

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