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    Kanpur News: कानपुर खिलाड़ी बने लुटेरे, बुरी संगत ने बिगाड़ा भविष्य

    By atul mishra Edited By: Anurag Shukla1
    Updated: Mon, 14 Jul 2025 01:00 PM (IST)

    कानपुर देहात में बुरी संगत के कारण हैंडबाल और हाकी के खिलाड़ी लुटेरे बन गए। बीपीएड के छात्र उत्कर्ष और श्रेयांश अपराधियों के साथ मिलकर लूटपाट करते थे। पुलिस ने उन्हें और उनके दो साथियों को गिरफ्तार किया जिन्होंने शिवली के एक व्यापारी से मारपीट कर लूटपाट की थी। आरोपियों से कार और लूटा हुआ माल बरामद किया गया है।

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    सचेंडी में पकड़े गए अंतरजनपदीय लुटेरे। पुलिस

    जागरण संवाददाता, कानपुर। कहते हैं कि बुरी संगत हमेशा विनाश की ओर ले जाती है। कुछ ऐसा ही बीपीएड(बैचलर आफ फिजिकल एजूकेशन) व बीपीएस (बैचलर आफ फिजिकल एजूकेशन एंड स्पोर्ट्स) की पढ़ाई कर रहे हैंडबाल और हाकी के दो खिलाड़ियों के साथ हुआ। वह अपराधियों की संगत में आकर नशेबाजी और महंगे शौक पूरा करने को गलत रास्ते पर चले गए। अपराधियों के साथ मिलकर शिवली के एक व्यापारी से मारपीट कर लूट की। इसका राजफाश रविवार को पुलिस ने दोनों खिलाड़ियों समेत चार आरोपितों को गिरफ्तार कर किया।

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    कानपुर देहात के शिवली निवासी संकेत त्रिपाठी का गिफ्ट प्रिंटिंग का काम है। 11 जुलाई को वह दिल्ली से माल लेकर लौटे थे। रावतपुर स्टेशन के पास खड़े होकर वह सवारी का इंतजार कर रहे थे। रात ढाई बजे एक सफेद रंग की कार सवार चार लोगों ने शिवली जाने की बात कही तो वह बैठ गए। रैकेपुर चौकी के पास सूनसान क्षेत्र में आरोपितों ने मारपीट शुरू कर दी।

    मोबाइल फोन छीनकर यूपीआइ के जरिए दो खातों से करीब 15 हजार रुपये ट्रांसफर कर लिए। 35 हजार का सामान और 10 हजार रुपये नकद लूट कर उन्हें कार से फेंक कर फरार हो गए। किसी तरह संकेत सचेंडी थाने पहुंचे और लूट का मुकदमा दर्ज कराया। आरोपितों की तलाश में जुटी पुलिस ने रविवार को फतेहपुर निवासी दिनेश उर्फ सीटू यादव, अभिषेक, श्रेयांश सिंह और रायबरेली निवासी उत्कर्ष को पकड़ा। इनके पास से कार और लूट का माल मिला।

    मुख्य आरोपित दिनेश उर्फ सीटू पर लूट, अपहरण और हत्या के प्रयास समेत संगीन धाराओं में मामले दर्ज हैं जबकि श्रेयांश पर एक मुकदमा है। उत्कर्ष बीपीएड और श्रेयांश बीपीएस का छात्र है। दोनों विश्वविद्यालय से संबद्ध एक कालेज से पढ़ाई कर रहे हैं। उत्कर्ष हाकी और श्रेयांश हैंडबाल खिलाड़ी है।

    जेब खर्च को मिलते थे 20-20 हजार

    श्रेयांश और उत्कर्ष के कारनामों की जानकारी पाकर स्वजन भी दंग रह गए। एडीसीपी पश्चिम कार्यालय पहुंचे दोनों के स्वजन ने बताया कि हर महीने 20 हजार रुपये खर्च के लिए भेजते थे। इसके बावजूद ऐसा करेंगे, कभी सोचा न था।

    11 जुलाई की रात आरोपितों ने पीड़ित को कार में बैठाकर लूट की थी। दिनेश पर फतेहपुर में आठ केस दर्ज हैं, वहीं बिंदकी निवासी अभिषेक उर्फ अर्जुन के खिलाफ चार केस हैं। उत्कर्ष और श्रेयांश ने पहली बार वारदात को अंजाम दिया था।

    -दिनेश त्रिपाठी, डीसीपी पश्चिम