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    चोरी हुई स्कॉर्पियो के मामले में बीमा कंपनी देगी 5 लाख रुपये, लोक अदालत का आदेश

    Updated: Sat, 08 Nov 2025 01:24 PM (IST)

    कानपुर की स्थायी लोक अदालत ने बीमा कंपनी को चोरी हुई स्कार्पियो के मामले में महत्वपूर्ण फैसला सुनाया। अदालत ने कंपनी को शिकायतकर्ता को पांच लाख रुपये और ब्याज देने का आदेश दिया, क्योंकि उसने बीमा शर्तों का पालन किया था। अदालत ने यह भी स्पष्ट किया कि इस फैसले के खिलाफ केवल उच्च न्यायालय में ही अपील की जा सकती है।

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    जागरण संवाददाता, कानपुर। स्थायी लोक अदालत ने फैसला सुनाया है कि बीमा कंपनी चोरी गई स्कार्पियों का पांच लाख रुपये दे। सात प्रतिशत ब्याज देने का भी आदेश दिया है। अदालत ने कहा कि परिवादी ने बीमा शर्तों का पालन किया है। इसलिए उसे बीमा दावे से वंचित नहीं किया जा सकता है।

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    एम ब्लाक गोविंद नगर निवासी गगन कालरा ने रायल सुंदरम एलाइन्ज इंश्योरेंस सुंदरम टावर सिटी सेंटर द माल रोड के खिलाफ स्थायी लोक अदालत में मुकदमा दाखिल किया था। इसमें कहा था कि उनकी स्कार्पियो का बीमा 28 जून 2009 से 27 जून 2010 तक था।

    27 मई 2010 को उसकी स्कार्पियो चोरी हो गई। गोविंद नगर थाने में इसकी रिपोर्ट दर्ज कराई गई। पुलिस ने फाइनल रिपोर्ट लगा दी थी। बीमा कंपनी से 7.57 लाख रुपये बीमा दावा दिलाया जाए। बीमा कंपनी ने अदालत में अपना पक्ष रखा कि स्कार्पियो चोरी होने की सूचना देर से दी गई।

    अपेक्षित प्रपत्र नहीं लगाए गए। इसलिए दावा राशि नहीं दी गई। स्थायी लोक अदालत अध्यक्ष अश्विनी कुमार त्रिपाठी, सदस्य अमित कुमार दीक्षित और मीना राठौर ने वादी के पक्ष में फैसला सुनाया। कहा कि एक माह के अंदर बीमा कंपनी वादी को पांच लाख रुपये दे।

    उच्च न्यायालय में ही अपील

    स्थायी लोक अदालत के फैसले के खिलाफ किसी अन्य अदालत में अपील नहीं होती है। इस अदालत के फैसले के खिलाफ उच्च न्यायालय में ही अपील की जा सकती है। इस तरह के मुकदमों की सुनवाई उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग में भी होती है। आयोग के फैसले के खिलाफ राज्य आयोग और फिर राष्ट्रीय आयोग में अपील की जा सकती है।