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    बिजली विभाग स्मार्ट तो चोर चालाक, छह माह में 8790 घरों में पकड़ी गई चोरी; इस जिले में सबसे ज्यादा हुई कार्रवाई

    Updated: Mon, 02 Jun 2025 03:03 PM (IST)

    UP Electricity बिजली चोरी रोकने के लिए केस्को द्वारा कानपुर में लगातार स्मार्ट उपकरण लगाए जा रहे हैं। लेकिन बिजली चोर लगातार विभाग रणनीति पर पानी फेर रहे हैं। विजिलेंस टीम 13 जिलों में बिजली चोरी के खिलाफ अभियान चला रही है। लेकिन चित्रकूट कन्नौज ललितपुर इटावा समेत 13 जिलों में सबसे ज्यादा चोरी कानपुर (केस्को) में पकड़ी गई है।

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    केस्को स्मार्ट तो बिजली चोर चालाक, छह माह में 870 स्थानों में किला भेद की चोरी

    रितेश द्विवेदी, कानपुर। बिजली चोरी रोकने के लिए लगातार स्मार्ट उपकरण लगाए जा रहे हैं। इसके बाद भी बिजली चोर सिस्टम में सेंध लगाने में कामयाब हो रहे हैं। विभाग की विजिलेंस टीम 13 जिलों में बिजली चोरों के खिलाफ विशेष अभियान चला रही है। बीते छह माह में सबसे ज्यादा बिजली चोरी केस्को में पकड़ी गई है।

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    बीते कई वर्षों से केस्को में बिजली चोरी रोकने के लिए करोड़ों रुपये खर्च करके एडवांस सिस्टम लगाए गए हैं, लेकिन चोर नए-नए तरीकों से बिजली चोरी कर रहे हैं। इसके साथ ही कन्नौज, ललितपुर, इटावा, औरैया, चित्रकूट, बांदा और फर्रुखाबाद में भी बड़ी संख्या में बिजली चोरी पकड़ी गई है।

    विजिलेंस ने लगभग 10480 स्थानों में छापेमारी की, जिसमें 8790 घरों में बिजली चोरी पकड़ी गई। छापेमारी की कार्रवाई के दौरान लगभग 83 प्रतिशत घरों में बिजली चोरी पकड़ने के साथ ही प्राथमिकी दर्ज करने की कार्रवाई की गई है।

    बिजली चोरी रोकने के लिए केस्को में वर्ष 2023 से 475 करोड़ रुपये से आरडीएसएस योजना पर काम चल रहा है। केस्को बिजली चोरी रोकने के लिए खंभे हटाकर अंडरग्राउंड केबल बिछाने, 20 प्रतिशत से अधिक बिजली चोरी वाले फीडरों, 1441 किमी भूमिगत केबल डालने के साथ ही अन्य योजनाओं पर काम कर रहा है। इसके साथ ही स्मार्ट मीटर लगाए जा रहे हैं।

    चोरी रोकने के लिए सर्विस केबल भी जमीन के भीतर सी टाइप पैनल से आकर सीधे घर के बाहर मीटर से लगाए जा रहे हैं। इसके बावजूद चोरों के आगे स्मार्ट बिजली की व्यवस्थाएं हार मान रही हैं। बीते नवंबर 2024 से 20 मई 2025 तक केस्को की विजिलेंस टीम ने 1053 स्थानों में छापेमारी की।

    इस दौरान 870 स्थानों में बिजली चोरी पकड़ी गई। जिन स्थानों में बिजली चोरी पकड़ी गई, ज्यादातर स्थानों में मीटर से पहले सर्विस केबल में कट मारकर बिजली चोरी की जा रही थी। इसके साथ ही कई स्थानों में पैनल और फर्जी मीटर लगाकर बिजली चोरी की घटनाओं को अंजाम दिया जा रहा था।

    वहीं, कानपुर ग्रामीण क्षेत्रों में केवल 407 स्थानों में बिजली चोरी पकड़ी गई। जिले में छह माह में 1277 घरों में बिजली चोरी के मामले पकड़ में आने के बाद एफआइआर दर्ज की गई है।

    हालांकि, विजिलेंस विभाग के अफसरों का दावा है कि बीते कुछ माह में चोरी रोकने के लिए कार्रवाई अधिक की गई हैं। टीमें दिनरात चोरी रोकने के लिए छापेमारी की कार्रवाई कर रही हैं, जिसके कारण लाइन लास फीडरों में कमी आई है।

    13 जिलों में विजिलेंस टीम के द्वारा की गई कार्रवाई का विवरण

    जिला छापेमारी -दर्ज एफआइआर

    कानपुर 1053-870

    कानपुर ग्रामीण 568-407

    कानपुर देहात 820-645

    इटावा 712- 671

    फर्रुखाबाद 748- 602

    कन्नौज 1004- 811

    औरैया 609- 584

    बांदा 750- 482

    चित्रकूट 774- 490

    महोबा 759- 738

    हमीरपुर 672- 594

    झांसी 752- 690

    जालौन 504- 492

    ललितपुर 755- 714

    कुल::: 10480- 8790

    यह सभी आंकड़े विजिलेंस विभाग के डेटा पर आधारित हैं।

    बिजली चोरी रोकने के लिए सभी जनपदों में अतिरिक्त टीमें लगाकर छापेमारी की जा रही है। हाई लाइन लास फीडरों की लगातार संख्या घट रही है। यह प्रयास लगातार जारी रहेगा।- डा. राजेश कुमार तिवारी, अपर पुलिस अधीक्षक, विजिलेंस, कानपुर