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    कानपुर में डाक्टर की रिसेप्शनिस्ट ने फंदा लगाकर की आत्महत्या, बीमारी से थी परेशान

    By atul mishra Edited By: Anurag Shukla1
    Updated: Tue, 26 Aug 2025 02:08 PM (IST)

    कानपुर के काकादेव थानाक्षेत्र में राजापुरवा निवासी अमरेंद्र बहादुर की 27 वर्षीय बेटी काजल ने गुमटी नंबर पांच में डाक्टर के यहाँ रिसेप्शनिस्ट के पद पर काम करते हुए बीमारी से परेशान होकर फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। ममेरे भाई सोनू ने बताया कि गुर्दे के ऑपरेशन के कारण वह पेट संबंधी समस्या से जूझ रही थी।

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    रिसेप्शनिस्ट युवती ने फंदा लगा आत्महत्या कर ली।

    जागरण संवाददाता, कानपुर। काकादेव थानाक्षेत्र में सोमवार देर रात राजापुरवा डाक्टर की रिसेप्शनिस्ट ने फंदा लगाकर जान दे दी। देर रात स्वजन ने फंदे पर युवती का शव लटकता देखा तो चीख पुकार मच गई।

    जेके मंदिर के पीछे रहने वाले प्राइवेटकर्मी अमरेंद्र बहादुर की 27 वर्षीय बेटी काजल देवी गुमटी स्थित डाक्टर के यहां रिसेप्शनिस्ट थी। वह यहां पर दो साल से काम कर रही थी। ममेरे भाई सोनू ने बताया कि काजल के गुर्दे का आपरेशन हुआ था जिस कारण वह पेट संबंधी समस्या से परेशान रहती थी। बताया कि शनिवार को पिता अमरेंद्र, मां मंजू, बहन डाली और भाई अनुज काम से गए थे।

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    इस दौरान बड़ी बहन प्रिया कमरे में सो रही थी तभी काजल ने पहली मंजिल में बने किचन में जाकर दुपट्टे से फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली। देर रात स्वजन ने देखा तो काजल का फंदे पर शव लटकता देखा तो उनका रो-रोकर बुरा हाल हो गया। काकादेव थाना प्रभारी मनोज सिंह भदौरिया ने बताया कि स्वजन से पूछताछ में सामने आया है कि बीमारी के कारण युवती ने आत्महत्या की है। मामले की जांच की जा रही है।

    इधर, मंदिर में मोबाइल रखा, भगवान के सामने हाथ जोड़े, फिर पुलिया से नाले में कूद दे दी जान

    मंदिर में मोबाइल रख और भगवान को हाथ जोड़ने के बाद 50 वर्षीय पल्लेदार रामसेवक द्विवेदी ने दादानगर नाले में छलांग लगा दी, जिससे उसकी मौत हो गई। लोगों की सूचना पर पहुंची पुलिस ने गोताखोरों की मदद से शव को बाहर निकलवाया। वहीं, उसकी मौत की जानकारी पर परिवार में कोहराम मचा रहा। गोविंदनगर थानाक्षेत्र के सेवाग्राम कालोनी निवासी राम सेवक दादानगर की एक फैक्ट्री में पल्लेदार था। परिवार में पत्नी वंदना, बेटा रोहित और बहू शालिनी हैं। बेटे रोहित ने बताया कि पिता सुबह 10 बजे साइकिल से फैक्ट्री के लिए निकले थे। दोपहर करीब एक बजे वह फैक्ट्री से पैदल दादानगर चौराहे पहुंचा। इसके बाद वहां बने मंदिर के बाहर उसने चप्पल उतारी और फिर मोबाइल रखकर भगवान को हाथ जोड़ने के बाद पुलिया पर चढ़कर नाले में छलांग लगा दी। नाले का बहाव तेज होने से वह बहकर वहां से करीब 200 मीटर बरामद हुआ। गोविंदनगर थाना प्रभारी प्रदीप कुमार सिंह ने बताया कि आत्महत्या का कारण स्पष्ट नहीं हो सका है। पूछताछ कर जानकारी करने का प्रयास किया जा रहा है। शव पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है।