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    Bundelkhand Expressway : यहां पढ़ें एक्सप्रेस-वे से जुड़ी रोचक और खास बातें, देखें- ड्रोन से ली गईं अद्भुत तस्वीरें

    By Abhishek AgnihotriEdited By:
    Updated: Sat, 16 Jul 2022 09:09 AM (IST)

    बुंदेलखंड में विकास इबारत लिखने के लिए चित्रकूट से इटावा तक बुंदेलखंड एक्सप्रेस वे बनकर तैयार है। 14849.09 करोड़ रुपये लागत से 296.070 किलोमीटर लंबा बनाया गया ये एक्सप्रेस वे बुंदेलखंड को सीधे दिल्ली से जोड़ रहा है।

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    बुंदेलखंड में एक्सप्रेस वे लिखेगा विकास की इबारत।

    कानपुर, जागरण संवाददाता। बुंदेलखंड में पर्यटन, रोजगार, संस्कृति और विकास की इबारत लिखने के लिए चित्रकूट से कुदरैल इटावा तक बना बुंदेलखंड एक्सप्रेस-वे तैयार है। इस पर सफर करने वालों को टोल प्लाजा बुंदेली शौर्य गाथा बताएंगे और यात्री बुंदेलखंड की ऐतिहासिक और सांस्कृतिक विरासत जानेंगे। उत्तर प्रदेश एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (यूपीडा) प्रत्येक टोल प्लाजा पर झांसी, ओरछा और कालिंजर किला जैसे बड़े-बड़े द्वार, खिड़की व छज्जे बनवाए हैं। भवनों पर ऐतिहासिक किलों की दीवारों जैसी नक्काशी यात्रियों को एक बारगी रुकने पर मजबूर करेगी। यूपीडा के सहायक अभियंता समीर कुमार यादव कहते हैं, एक्सप्रेस-वे पर चित्रकूट से इटावा तक 13 टोल व रैंप प्लाजा में किले जैसे द्वार, खिड़की व दीवारों में उसी तरह की नक्काशी व गेटों में गुंबद बनाए जा रहे हैं।

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    बुंदेलखंड एक्सप्रेस-वे का सफर

    -शिलान्यास हुआ : 29 फरवरी, 2020

    -कुल लंबाई : 296.070 किलोमीटर

    -कुल निर्माण लागत : 14849.09 करोड़ रुपये

    -लाभान्वित जिले : चित्रकूट, बांदा, महोबा, हमीरपुर, जालौन, इटावा।

    -ढांचा : चार लेन चौड़ा (छह लेन में विस्तारीकरण), चार रेलवे ओवरब्रिज, 14 बड़े पुल, चार टोल प्लाजा, सात रैंप प्लाजा, 268 छोटे पुल, 18 फ्लाईओवर और 214 अंडरपास।

    -इन शहरों से जुड़ेगा बुंदेलखंड : लखनऊ, दिल्ली, कानपुर, आगरा, अलीगढ़, मथुरा-वृंदावन और नोएडा-ग्रेटर नोएडा।

    -एक्सप्रेस-वे पर नदियां : बागे, केन, श्यामा, चंद्रावल, बिरमा, यमुना, बेतवा व सेंगुर।

    छह पैकेज में हुआ निर्माण

    1-चित्रकूट के गोंड़ा से बांदा के मनोखर तक 50.49 किलोमीटर।

    2-बांदा के मनोखर से महोबा के कौहारी तक 50.300 किलोमीटर।

    3-महोबा के कौहारी से हमीरपुर के ब्रोलीखरका तक 49 किमी।

    4- हमीरपुर के ब्रोलीखरका से जालौन के सालाबाद तक 51 किलोमीटर।

    5-जालौन के सालाबाद से औरैया के बखरिया तक 50 किलोमीटर।

    6-औरैया के बखरिया से इटावा के कुदरैल तक 42.280 किलोमीटर।

    एक्सप्रेस-वे से होंगे यह फायदे

    -बुंदेलखंड का तेज गति से होगा विकास।

    -वाहनों में ईंधन खपत कम व प्रदूषण घटेगा

    -कृषि, वाणिज्यिक, पर्यटन और उद्यमिता के लिए राह होगी आसान

    -औद्योगिक कारिडोर का होगा विकास

    -हैंडलूम उद्योग, खाद्य प्रसंस्करण, मंडी, भंडारण गृह व दुग्ध उद्योग को मिलेगा बढ़ावा

    -बुंदेलखंड के 138, इटावा व औरैया के 44 गांवों का सीधा जुड़ाव

    -औद्योगिक प्रशिक्षण इंस्टीट्यूट, शिक्षण एवं प्रशिक्षण संस्थान, मेडिकल संस्थान खुलने में आसानी

    -डिफेंस कारिडोर समेत अन्य गतिविधियों से युवाओं को मिलेंगे रोजगार के अवसर।

    मध्य प्रदेश को भी अप्रत्यक्ष लाभ

    बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे के निर्माण से चित्रकूट, बांदा, महोबा, हमीरपुर, जालौन के साथ इटावा व औरैया जिले देश की राजधानी दिल्ली समेत अन्य शहरों से सीधे जुड़ जाएंगे। बुंदेलखंड के 138, इटावा व औरैया के 44 गांवों का सीधा जुड़ाव हो जाएगा। वहीं, प्रयागराज, फतेहपुर, कौशांबी, झांसी, ललितपुर के साथ मध्यप्रदेश के रीवां, सतना, पन्ना, छतरपुर, टीमकमगढ़, निवाड़ी आदि जिलों को अप्रत्यक्ष रूप से फायदा मिलेगा।

    यहां पर होंगे टोल व रैंप प्लाजा

    -04 किलोमीटर : भरतकूप, चित्रकूट

    -24 किलोमीटर : बिसंडा, बांदा

    -43 किलोमीटर : बांदा

    -50 किलोमीटर : बांदा

    -55 किलोमीटर : बांदा

    -86 किलोमीटर : कबरई, महोबा

    -125 किलोमीटर : जखेड़ी, हमीरपुर

    -164 किलोमीटर : डकोर, जालौन

    -174 किलोमीटर : उरई, जालौन

    -201 किलोमीटर : छिरिया, जालौन

    -243 किलोमीटर : करमपुर, औरैया

    -280 किलोमीटर : ककराही, इटावा

    -287 किलोमीटर : ताखा, इटावा

    बुंदेलखंड एक्सप्रेस वे से जुड़ी कुछ खास बातें

    1-बुंदेलखंड एक्सप्रेस-वे की डिजाइन इंटरनेशनल कांटीनेंटल कंसलटेंट एंड टेक्नोक्रेट संस्था ने बनाई है।

    2-राइट्स कंपनी ने एक्सप्रेस-वे निर्माण का सुपरविजन किया है।

    3-पूरे एक्सप्रेस-वे में मेटल क्रास बैरियर लगाए गए हैं, जो किसी अन्य एक्सप्रेस-वे में नहीं हैं।

    4-अधिकतम 100 किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ्तार ही मान्य होगी। इससे तेज रफ्तार पर जुर्माना पड़ेगा।

    5-एक्सप्रेस-वे में सामने से आ रहे वाहनों की लाइट का प्रभाव नहीं पड़े, इसलिए विशेष प्रकार के रिफलेक्टर लगाए गए हैं।

    6-एडवांस टोल सिस्टम को लागू किया गया है।

    7-एक्सप्रेस को चार कंपनियों एप्पो कपंनी, अशोका बिल्डकान, ग्वार कांस्ट्रक्शन व दिलीप बिल्डकान ने बनाया है। न

    8-चार पेट्रोल पंप में जालौन जिले में दो में से एक कोंच रोड के खडूसा गांव व दूसरा जालौन कस्बे के पास बनेगा। हमीरपुर में राठ के पास तीसरा व बांदा के बिसंडा में चौथा पेट्रोल पंप बनेगा। एक्सप्रेस-वे पर चार अस्पताल, चार गैराज व चार फूड प्लाजा भी पेट्रोल पंप वाले स्थानों के पास ही बनाए जाएंगे।

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