Jhansi News: झांसी में जिला अस्पताल के बच्चा वार्ड की छत पर लगी आग, भर्ती थे 16 मासूम
झांसी जिला अस्पताल में शनिवार को बच्चा वार्ड की छत पर पड़ी सूखी पत्तियों में आग लग गई। छत पर धुआं उठता देख स्वजन अपने बच्चों को लेकर बदहवासी में वार्ड से बाहर निकले। घटना के वक्त वार्ड में पांच से पंद्रह वर्ष के 16 बच्चे भर्ती थे। बताया जा रहा है कि छत पर पड़े बिजली के तार में शार्ट सर्किट के कारण आग लगी।

जागरण संवाददाता, झांसी। जिला अस्पताल में शनिवार को उस समय जबरदस्त अफरातफरी मच गई जब बच्चा वार्ड की छत पर पड़ी सूखी पत्तियों में आग लग गई। छत पर धुआं उठता देख स्वजन अपने बच्चों को लेकर बदहवासी में वार्ड से बाहर निकले। घटना के वक्त वार्ड में पांच से पंद्रह वर्ष के 16 बच्चे भर्ती थे।
इस आग ने दिलाई पिछले साल की आग
बताया जा रहा है कि छत पर पड़े बिजली के तार में शार्ट सर्किट के कारण आग लगी। पिछले वर्ष झांसी के ही महारानी लक्ष्मीबाई मेडिकल कॉलेज के निक्कू वार्ड में लगी आग की चपेट में आकर लगभग डेढ़ दर्जन बच्चों की मौत हो गई थी।
आननफानन में बच्चों को अन्य वार्डों में शिफ्ट कर दिया गया
शनिवार शाम लगभग 4.30 बजे जिला अस्पताल परिसर में बने बच्चा वार्ड की छत पर धुआं उठने लगा। लोगों ने यह देखा तो आग लगने का शोर कर दिया। इससे अफरातफरी का माहौल हो गया। आननफानन में बच्चों को अन्य वार्डों में शिफ्ट कर दिया गया। दरअसल वार्ड में बिजली की सप्लाई पहुंचाने वाले तार छत पर खुले पड़े हैं।
छत पर पेड़ों से गिरी सूखी पत्तियां भी पड़ी हैं। तारों में शार्ट सर्किट होते ही निकली ¨चगारी से पत्तियों में आग लग गई। आग ने वार्ड के पर्दों को भी चपेट में ले लिया। अस्पताल के कर्मियों ने किसी तरह आग पर काबू पा लिया।
दो वर्ष पहले जिला अस्पताल में दो करोड़ की लागत से फायर सिस्टम लगाया गया था। बच्चा वार्ड में स्मोक डिटेक्टर भी लगे हैं। आग लगने पर न तो अलार्म बजा और न ही फायर सिस्टम काम आया। एसपी सिटी ज्ञानेन्द्र कुमार सिंह ने बताया कि सभी बच्चे सुरक्षित हैं।
घटना के कारणों की जांच कराई जाएगी
घटना के कारणों की जांच कराई जाएगी। प्रभारी अधिकारी/पीडियाट्रिक विभागाध्यक्ष डा. अरविन्द सोनी ने बताया कि आग लगते ही सभी को सुरक्षित शिफ्ट कर दिया गया। किसी भी बच्चे अथवा अन्य को कोई नुकसान नहीं पहुंचा है।
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